महिला को डम्पर ने कुचला,  मौत

punjabkesari.in Tuesday, Sep 12, 2017 - 03:37 PM (IST)

यमुनानगर(सतीश/गोपाल): सोमवार सुबह 11 बजे एस.के. हाईवे स्थित कैंप में 24 टन के डम्पर ने 56 वर्षीय महिला को कुचल दिया। डम्पर चालक डम्पर को छोड़कर मौके से फरार हो गया। हादसा महिला के घर से डेढ़ किलोमीटर पहले हुआ। सूचना पाते ही फर्कपुर पुलिस मौके पर पहुंची। हादसा इतना दर्दनाक था कि महिला के मांस के लोथड़े 50 फीट तक सड़क पर बिखर गए। सड़क पर सिर्फ उसका एक हाथ नजर आ रहा था।  टैंट संचालक ने उसे कपड़े से ढका। 1 घंटा 40 मिनट मांस सड़क पर पड़ा रहा। परिवार जिद पर अड़ गया कि पहले डम्पर चालक को पकड़ो उसके बाद ही शव को सड़क से उठाएंगे।

करीब डेढ़ बजे फर्कपुर पुलिस ने पुलिस कर्मचारी की मदद से डम्पर को कब्जे में लिया, जिसके बाद कपड़े के सहारे मांस को इकट्ठा कर पी.सी.आर. के जरिए सिविल अस्पताल के शव गृह पहुंचाया गया। हालात ये बने थे कि महिला का पोस्टमार्टम भी मुश्किल लग रहा था। इस दौरान मृतक का भाई आई.टी.आई. निवासी राकेश तथा माया कालोनी निवासी खलिन्द्र जोली भी पहुंच गया। दोनों भाई सड़क पर फूट फूटकर रोने लगे। उधर, मृतक का बेटा कमल तो बेसुध हो गया।  

30 को मृतक महिला के बेटे की शादी
डम्पर ने जम्मू कालोनी बी की नीरू कालड़ा को ही नहीं बल्कि उसके परिवार की खुशियों को भी ट्रक के नीचे रौंद दिया। 30 सितम्बर को उसके इकलौते बेटे कमल की शादी है। सोमवार को वह शादी के सिलसिले में ही ए.टी.एम. से पैसे निकलवाकर आ रही थी। बाइक उसका बेटा कमल चला रहा था। जैसे ही मां बेटा कैंप में सिंडीकेट बैंक के पास पहुंचे। पीछे से आ रहे ओवरलोड डम्पर ने महिला को कुचल दिया, जबकि बेटा बाल बाल-बच गया।  

 उठा रही थी कष्ट
मृतक नीरू कालड़ा की कहानी किसी दर्द ने कम नहीं है। जिस समय उसका बेटा कमल 3 साल का था उसके सिर से पति का साया उठा गया था। इस अवधि में उसने बहुत से कष्ट उठाए। बेटे का पालन पोषण किया और उसे लॉ करवाई। बच्चे और घर को चलाने के लिए उसने नजदीकी जमुना हाई स्कूल में टीचर की नौकरी की। करीब 10 दिन पहले ही उसे अपने बेटे का रिश्ता कैंप में किया था। इस अवधि में वह लगातार बेटे की खुशियों के लिए व्यस्त थी।   

पुलिस ने दिखाई इंसानियत
महिला का मांस सड़क पर पड़ा था। 11 बजे से लेकर 12.40 मिनट तक पुलिस ने कई वाहनों को रोका। कोई भी मदद को तैयार नहीं हुआ। आखिरकार फर्कपुर की पी.सी.आर.8 में महिला के शव को ले जाया गया। इससे पहले ए.एस.आई. राजपाल, ए.एस.आई. लखविन्द्र, सतीश, हैड कांस्टेबल राजेन्द्र, कांस्टेबल दिलबाग सिंह होमगार्ड के जवानों ने यातायात को काबू किया और स्वयं ही मांस को इकट्ठा कर शव गृह पहुंचाया। 


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