सिम अपग्रेड के बहाने लोगों के खातों से निकालते थे पैसे, पुलिस ने 5 को बिहार से किया काबू

punjabkesari.in Thursday, Aug 27, 2020 - 10:12 AM (IST)

फरीदाबाद (सूरजमल) : टेलीकॉम कंपनी का कर्मचारी बनकर सिम को 3 जी से 4 जी मे अपग्रेड करने के बहाने लोगों के खाते पैसे उड़ाने वाले 5 आरोपियों को साइबर अपराध शाखा ने नक्सलाईट ऐरिया जामताडा, गिरडी और देवघर से गिर तार किया है। आरोपी बैंक के साथ लिंक मोबाईल सिम कार्ड को स्वैपिंग के जरिए दूसरी सिम पर एक्टिव कराकर बैंक अकांउट को साफ कर दिया करते थे। आरोपियों से 1 लाख 25 हजार रुपए व 12 मोबाईल फोन व सिम कार्ड बरामद किए गए हैं।

गिरफ्तार किए गए आरोपियों में सौरव निवासी जालंन्धर पंजाब, अजय मंडल निवासी जिला जामताडा झारखंड,  भरत कुमार मंडल निवासी जिला देवघर झारखंड, शत्रुधन मंडल उर्फ चरकू निवासी जिला देवघर झारखंड व नरेन्द्र कुमार मंडल उर्फ लालू निवासी जिला देवघर झारखंड शामिल है। आरोपियों को अदालत में पेश कर नीमका जेल भेजा गया है।

एसीपी धारणा यादव ने इस बारे में जानकारी देते हुए बताया कि आरोपियो ने पीडित मुनीश कुमार जैन निवासी केनवुड टावर, चार्मवुड विलेज, फरीदाबाद से इसी तरह झांसा देकर अलग-2 बैंक खातों में करीब 2 लाख 30 हजार रुपए धोखाधडी से निकाल लिए थे। जिस पर पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ थाना सुरजकुंड में मुकदमा में दर्ज किया था। वारदात पर संज्ञान लेते हुए पुलिस कमिश्नर ओपी सिंह ने आरोपियो को जल्द पकड सलाखों के पीछे भेजने के निर्देश दिए थे। मकसूद अहमद पुलिस उपायुक्त अपराध के मार्गदर्शन में अनिल यादव सहायक पुलिस आयुक्त, अपराध की देखरेख मे निरीक्षक बसन्त कुमार, प्रभारी साईबर अपराध शाखा, फरीदाबाद के नेतृत्व में अनुसंधान अधिकारी उप निरीक्षक राजेश  कुमार व उप निरीक्षक योगेश  कुमार, स.उ.नि. बाबूराम, स.उ.नि. सत्यवीर, मु.सि. दिनेश  कुमार,  मु.सि. नरेन्द्र कुमार, सिपाही  अंशुल, की एक टीम का गठन किया।

साईबर टीम ने अपने सूत्रों व आधुनिक तकनीक का प्रयोग व  मेहनत से अपनी जान का जोखिम उठाते हुए अपराधियो को नक्सलाईट ऐरिया जामताडा, गिरडी और देवघर से गिर तार करने में सफलता हासिल की। एसीपी धारणा यादव ने बताया कि आरोपी टेलीकाम क पनी के कर्मचारी बनकर लोगों के पास काल करते थे और उनकी सिम को 3 जी से 4 जी व एडवांस 5जी क पीटिबल सिम मे अपग्रेड करने का झांसा देते थे। उसके बाद आरोपी लोगों को उनकी सिम कार्ड नंबर से अपनी बलैक सिम का आईएमएसआई नंबर कस्टमर केयर नंबर पर भेजने को कहते थे। लोगों के सिम कार्ड को अपनी सिम पर एक्टिवेट कर आई.फोन व लिंक बैक अकांउट को हैक कर नेट बैंकिग के जरिए उनके खाता से पैसे निकाल लेते थे।  

इंस्पेक्टर बसंत प्रभारी साइबर अपराध शिकायत शाखा ने बताया कि नेट बैंकिंग के जरिए खातों को चलाने के लिए रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर की जरूरत होती है तो आरोपी लोगों के मोबाइल नंबर को अपनी सिम पर चालू करा लेते थे ताकि वह ओटीपी अपने मोबाइल फोन पर मंगा सके और आसानी से पैसे निकाल सकें। एक मोबाइल नंबर को दूसरे सिम पर चालू कराने के लिए पहले से ही चालू सिम के द्वारा कस्टमर केयर के नंबर पर ब्लैंक सिम के आई एम एस आई नंबर मैसेज किये जाते है जिस पर पुरानी सिम कार्ड नंबर बंद हो कर नई सिम कार्ड पर चालू हो जाते हैं।  ऐसा करने के लिए आरोपी टेलीकॉम कंपनी के कर्मचारी बनते थे और लोगों को 4जी और 5जी सिम कार्ड अपग्रेड कराने का झांसा देते थे। इसी तरह आरोपियों ने अपने आप को ऐयरटेल टेलीकाम क पनी का कर्मचारी बनकर काल की व सिम को अपग्रेड करने का झांसा देकर उपरोक्त पीडित के के बैंक अकांउट से धोखाधडी से 2लाख 30 हजार रुपए निकाल लिए थे। साइबर सेल ने आरोपियों को अदालत में पेश किया जहां से उन्हें नीमका जेल भेजा गया है।

 

 

 


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Manisha rana

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