Farmers protest : आंदोलन की रणनीति तय, आज संयुक्त मोर्चा करेगा खुलासा

punjabkesari.in Sunday, Feb 21, 2021 - 08:29 AM (IST)

सोनीपत : 3 नए कृषि कानूनों को रद्द करवाने और एम.एस.पी. पर गारंटी की मांग को लेकर आंदोलनरत पंजाब की किसान जत्थेबंदियों ने शनिवार को बैठक की। बैठक में आंदोलन की अगली रणनीति का प्रारूप तैयार कर लिया है। अब इसे रविवार को संयुक्त मोर्चा की बैठक में रखा जाएगा। इसके बाद किसान संगठन आंदोलन के अगले चरण पर मोहर लगाएंगे। किसानों ने साफ कर दिया है कि कानून रद्द करवाने से पहले वापसी का कोई इरादा नहीं है, बल्कि गर्मी को लेकर तैयारियां शुरू कर दी गई हैं। गौरतलब है कि एक महीने का समय होने को आया है, लेकिन केंद्र सरकार की ओर से बातचीत का कोई न्यौता नहीं आया। इस बीच महापंचायत से लेकर 2 बार चक्का जाम तक किसान कर चुके हैं। इसके बावजूद सरकार टस से मस नहीं हो रही है।

अब किसानों ने सरकार पर दबाव बनाने के लिए आंदोलन के अगले चरण पर काम शुरू कर दिया है। इसी को लेकर शनिवार को पंजाब की 32 किसान जत्थेबंदियों ने बैठक की और आंदोलन में क्या नया होगा, इस पर मंथन किया। इसके बाद खाका तैयार कर लिया गया है। यह प्रारूप अब रविवार को होने वाली संयुक्त मोर्चा की बैठक में हर किसान संगठन के सामने रखा जाएगा। इसके बाद जो निर्णय होगा वह सार्वजनिक किया जाएगा। यहां पत्रकारों से बातचीत में किसान ने रविंद्र कौर, जगबीर टांडा, कुलदीप जगीरपुर, रिषपाल सिंह और हरेंद्र सिंह लक्खोवाल ने कहा कि लीगल कमेटी के प्रयास से 122 में से 45 किसानों की जमानत कर दी गई है। इनमें 15 किसानों की रिहाई बीती रात की गई है। बाकी किसानों को जेल से बाहर लाने के लिए लगातार कमेटी काम कर रही है। उन्होंने कहा कि किसान कार्पोरेट घरानों का बहिष्कार करें और उनके उत्पाद न खरीदें। पंजाब के किसान संगठनों की बैठक में फैसला लिया गया कि ट्रैक्टर परेड के दौरान रूट बदलने वाले भाकियू क्रांतिकारी सुरजीत फूल गुट के अध्यक्ष सुरजीत सिंह फूल को दोबारा से किसान मोर्चा में शामिल किया जाए। सुरजीत सिंह फूल ने भी गलती से दूसरे रूट पर जाने की बात कही है।

हमें नहीं मिला कोई बुलावा: दर्शनपाल
इस बीच दिल्ली के सी.एम. अरविंद केजरीवाल की ओर से किसानों के साथ रविवार को बैठक करने की बात कही गई। इस पर किसान संयुक्त मोर्चा के नेता दर्शनपाल ने कहा कि उनके पास ऐसा कोई बुलावा नहीं आया है। इस तरह से बुलाए बिना उनके संगठन नहीं जाएंगे। उन्होंने कहा कि वार्ता का प्रस्ताव आने पर ही संगठन वहां जाएंगे।

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Content Writer

Manisha rana

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