राकेश टिकैत के आंसुओं ने बदला हरियाणा का मिजाज, भड़के किसान, बोले- अब करो या मरो की लड़ाई

punjabkesari.in Friday, Jan 29, 2021 - 01:56 PM (IST)

जींद (अनिल): दिल्ली में गणतंत्र दिवस पर हुई हिंसा के बाद जो किसान आंदोलन कुछ ढीला पड़ता दिख रहा था, बीते दिन कुछ ऐसा हुआ कि उसमें फिर से जान आ गई है। गाजीपुर बॉर्डर पर किसान नेता राकेश टिकैत के रोने के बाद से माहौल पूरी तरह बदल गया है। राकेश टिकैत के आंसुओं के बाद हरियाणा के किसान भड़क गए हैं। इसको लेकर जींद के रामकली गांव में पंचायत हुई। जिसमें दिल्ली में किसान आंदोलन के लिए कूच की रणनीति बनाई। 

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इस पंचायत में सैकड़ों युवा, बजुर्ग, महिलाएं व बच्चे पंचायत में शामिल हुए। गांव में पंचायत को लेकर रात को ही मुनादी करवा दी गई थी। जिसके बाद सुबह रामकली गांव के काफी लोग इकट्ठा हुए। दिल्ली कूच के लिए रामकली गांव से 10 ट्रैक्टर रात को ही निकल चुके हैं, जबकि बाकी बचे गांव के सभी ट्रैक्टर भी दिल्ली बॉर्डर पर भेजे जाएंगे। 

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किसानों ने कहा कि राकेश टिकैट के आंशू हर किसान के आंशू हैं, अब करो या मरो की लड़ाई है। उन्होंने कहा कि जब तक तीनों कृषि कानून वापस नहीं होते, तब तक वह नहीं लौटेंगे। पंचायत में फैसला लिया गया कि दिल्ली बॉर्डर पर हर रोज पांच ट्रैक्टरों से सहायता भेजी जाएगी। इसके लिए पंचायत में युवाओं की टीम बनाई गई, जो पूरी तरह से काफिले पर नजर बनाए रखेगी। पंचायत के दौरान सरकार के खिलाफ नारे भी लगे। 


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vinod kumar

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