शराबबंदी को नहीं मिल रहा समर्थन, 6 पंचायतों ने ही दिए ठेका न खोलने के प्रस्ताव

punjabkesari.in Thursday, Nov 14, 2019 - 11:24 AM (IST)

जींद (जसमेर) : मुख्यमंत्री मनोहर लाल से लेकर उप-मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला तक सब भले ही हरियाणा को शराब मुक्त बनाने के दावे और जनता से इसका आह्वान कर रहे हों लेकिन ग्राम पंचायतों का समर्थन मुहिम को नहीं मिल रहा है। जिले की 307 पंचायतों में से अभी तक केवल 6 पंचायतों ने अगले वित्तीय वर्ष से शराब के ठेके न खोलने के प्रस्ताव विधिवत रूप से पारित कर जींद के आबकारी विभाग को भेजे हैं।

शराब ठेके नहीं खोलने को लेकर सरकार द्वारा अब प्रस्ताव भेजने की अंतिम तारीख बढ़ाने की घोषणा के बाद विभाग को कुछ और पंचायतों से इस तरह के प्रस्ताव मिलने की उम्मीद भले ही हो लेकिन जिले की ग्राम पंचायतों का जिस तरह का मूड है उसे देखते हुए इस सिलसिले में ज्यादा प्रस्ताव मिलने की संभावना बहुत कम नजर आ रही है। ग्राम पंचायतों को यहां शराबबंदी के लिए प्रस्ताव पारित करने को लेकर सरकार ने 31 अक्तूबर तक की तारीख निर्धारित की थी। 31 अक्तूबर तक की निर्धारित तारीख तक जींद जिले की 307 पंचायतों में से केवल 6 पंचायतों ने ग्राम सभा और ग्राम पंचायत द्वारा यहां शराब के ठेके नहीं खोलने के प्रस्ताव आबकारी विभाग को भेजे हैं। 

महज 6 ग्राम पंचायतों के इस तरह के प्रस्ताव आबकारी विभाग को मिलने से साफ है कि जींद जिले की ज्यादातर ग्राम पंचायतों और गांवों की ग्राम सभाओं का समर्थन शराबबंदी को हासिल नहीं है। ज्यादातर ग्राम पंचायत और ग्राम सभाएं अपने यहां पहले की तरह शराब के ठेके खोले जाने के पक्ष में हैं। इसके पीछे एक बड़ी वजह यह भी है कि खुद ग्रामीण शराबबंदी के ज्यादा हक में नहीं हैं।

ग्रामीण शराबबंदी के हक में एकजुट हो जाएं तो फिर ग्राम पंचायतों पर अपने यहां शराब के ठेके नहीं खोलने के प्रस्ताव पारित करने का दबाव अपने आप बन जाता है और इस तरह के दबाव को दरकिनार करना ग्राम पंचायतों के लिए आसान नहीं होगा। जींद जिले के 307 गांवों में से 265 गांवों में शराब के ठेके या उप-ठेके चल रहे हैं। इनमें 187 उप-ठेके और 78 ठेके शामिल हैं। इन आंकड़ों से साफ है कि जींद जिले के लगभग हर गांव में शराब का ठेका या उप-ठेका चल रहा है। शराब ठेकों की जहां तक बात है तो जींद जिले को इसके लिए आबकारी विभाग ने 13 जोन में बांटा हुआ है और एक जोन में शराब के 6 ठेके हैं। 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Isha

Recommended News

Related News

static