मिशन अंत्योदय के तहत गरीब परिवारों का उत्थान- मनोहर लाल
punjabkesari.in Tuesday, May 24, 2022 - 09:25 PM (IST)
चंडीगढ़(धरणी): मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कहा कि 'अन्त्योदय' के आदर्श पर चलते हुए हरियाणा सरकार प्रदेश में उन परिवारों को आर्थिक रूप से सशक्त कर रही है जो किन्हीं कारणों से पिछड़े रह गए। सभी वर्गों के सामाजिक, शैक्षणिक और आर्थिक उत्थान के लिए राज्य सरकार प्रतिबद्ध है। इस वर्ष को हम 'अन्त्योदय उत्थान वर्ष' के रूप में मना रहे हैं और इसके लिए मुख्यमंत्री ‘अंत्योदय परिवार उत्थान योजना’ शुरू की है। इसके तहत सबसे गरीब परिवारों की पहचान करके उनकी वार्षिक आय कम से कम 1.80 लाख रुपये की जाएगी। इस योजना के तहत अब तक एक लाख रुपये से कम वार्षिक आय वाले लगभग 2 लाख 49 हजार परिवारों की पहचान की गई है। योजना के तहत दो चरणों में 156 स्थानों पर 570 मेला दिवस आयोजित किए गए, जिनमें 1 लाख 22 हजार परिवार शामिल हुए। अब इसका तीसरा चरण चल रहा है।
उन्होंने कहा कि हमारा लक्ष्य है कि लोगों को सभी सरकारी सेवाओं और योजनाओं का लाभ घर बैठे ही मिले और उन्हें दफ्तरों के चक्कर न काटने पड़ें। इसके लिए सभी परिवारों के परिवार पहचान पत्र बनाए जा रहे हैं। इस एकमात्र दस्तावेज से सभी योजनाओं और सेवाओं का लाभ अब पात्र व्यक्ति को घर बैठे ही मिलने लगा है। सभी योजनाओं व सेवाओं को पी.पी.पी. पोर्टल के साथ जोड़ा जा रहा है। इस वर्ष अधिकांश सरकारी सेवाएं पी.पी.पी. के जरिये ऑनलाइन मिलनी शुरू हो जाएंगी। अब जन्म-मृत्यु का डेटा भी ऑटो अपडेट होगा। युवाओं की शिक्षा, कौशल व बेरोजगारी का डेटा भी इस पोर्टल पर डाला गया है। हम राशन कार्ड बनाने का काम भी परिवार पहचान पत्र के माध्यम से करने जा रहे हैं। आरंभ में जिला सिरसा व कुरुक्षेत्र में यह योजना पायलट आधार पर शुरू की गई है।
इस नई व्यवस्था के तहत लाभार्थी की आय में परिवर्तन होने पर राशन कार्डों के रंग श्रेणी भी अपने आप बदल जाएगी। यदि कोई व्यक्ति वृद्धावस्था पेंशन के लिए निर्धारित आयु पूरी कर लेता है तो उसे अपनी पेंशन बनवाने के लिए सरकारी दफ्तरों के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे बल्कि परिवार पहचान पत्र के माध्यम से उसकी पेंशन अपने-आप शुरू हो जाएगी।
गरीबों को मुफ्त चिकित्सा सेवा प्रदान करने के लिए आयुष्मान भारत योजना
मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल ने कहा कि राज्य में गरीबों को मुफ्त चिकित्सा सेवा प्रदान करने के लिए ‘आयुष्मान भारत योजना’ के तहत 28 लाख से अधिक व्यक्तियों के गोल्डन कार्ड बनाए जा चुके हैं। गरीब परिवार 631 सूचीबद्ध अस्पतालों में अपना इलाज करवा सकते हैं। इसके लिए 434 करोड़ रुपये की प्रतिपूर्ति की जा चुकी है। सरकारी अस्पतालों में भी गरीबों को जांच और दवाइयां मुफ्त दी जा रही हैं। 'सबको शिक्षा' के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए गरीब परिवारों के विद्यार्थियों के लिए 12वीं कक्षा तक मुफ्त पुस्तकें, वर्दी व लेखन सामग्री देने का प्रावधान किया है।
यही नहीं, विभिन्न प्रतियोगी और प्रवेश परीक्षाओं के लिए तैयारी के लिए उन्हें मुफ्त कोचिंग प्रदान की जा रही है। इसके अलावा, कई छात्रवृत्तियां भी दी जा रही 'प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना' के तहत गरीबों को सितंबर, 2022 तक हर महीने मुफ्त अनाज दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि जिन बेघर लोगों की आय 1.80 लाख रुपये प्रति वर्ष से कम है, उनका सर्वेक्षण शुरू किया जा रहा है।
अनुसूचित जाति एवं पिछड़े वर्गों का कल्याण
मुख्यमंत्री ने बताया कि अनुसूचित जाति एवं पिछड़े वर्ग के छात्रों को ‘डॉ. अम्बेडकर मेधावी छात्रवृत्ति योजना’ के तहत मैट्रिक के बाद उच्च शिक्षा के लिए कक्षा अनुसार 8 हजार रुपये से लेकर 12 हजार रुपये की वार्षिक छात्रवृत्ति दी जाती है। पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति के अन्तर्गत मैट्रिकोत्तर कक्षाओं में पढ़ने वाले अनुसूचित जाति के छात्रों को प्रतिमास 230 रुपये से 1200 रुपये तक छात्रवृत्ति प्रदान की जाती है। इसके अतिरिक्त, सभी तरह की नॉन रिफण्डेबल फीस की प्रतिपूर्ति की जाती है। सरकार निरंतर अंतिम पंक्ति में खड़े अंतिम व्यक्ति के जीवन स्तर को ऊंचा उठाने के लिए काम कर रही है। यही नहीं, ई-गवर्नेस का उपयोग कर गरीब आदमी के लिए सरकार के खजाने से निकला एक-एक पैसा उस तक पहुंचाया जा रहा है।
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