कहीं आग का गोला न बन जाएं जिले के अस्पताल

3/26/2019 10:32:21 AM

गुरुग्राम(संजय): मिलेनियम सिटी को मैडिकल हब के नाम से भी जाना जाता है। यहां पर राष्ट्रीय से लेकर अन्तरराष्ट्रीय स्तर के कई अस्पताल हैं। एम्स ट्रॉमा सेंटर में लगी आग के बाद यहां के अस्पतालों में मरीजों से किए जा रहे खिलवाड़ को लेकर फिर से सवाल खड़े होने लगे हैं। हालांकि आरटीआई से मिली जानकारी के बाद मामले की शिकायत सीएम विंडो में भी की जा चुकी है बावजूद इसके अस्पतालों का संचालन जारी है। ज्ञात हो कि रविवार को दिल्ली के एम्स ट्रामा सेंटर के आईसीयू आग लग गई।

जिसके बाद अस्पतालों बड़ी तादात वाले शहर गुडग़ांव में भी इसे लेकर चर्चा शुरू हो गई है। बताया जाता है कि शहर में छोटे-बड़े मिलाकर कुल 280 अस्पताल हैं। जिसमें कई तो ऐसे हैं जो नामी गिरामी अस्पतालों की श्रेणी में गिने जाते हंै। सूत्रों की मानें तो बड़ी लापरवाही के बाद भी इन अस्पतालों में बुजुर्ग व महिलाओं के साथ पैदा होने वाले नवजातों को भी भर्ती किया जा रहा है। विदित हो कि अभी कुछ दिनों पूर्व शहर के रेलवे रोड स्थिति शीतला अस्पताल में भीषण आग लगी थी। जहां पर जान बचाने के लिए कई मरीजों को प्रथम तल की खिड़किया तोड़ कूदने तक कोशिश कर चुके हैं। हालांकि फायर विभाग की कई गाडिय़ां मौके पर पहुंचने के बाद किसी तरह से उन्हें सुरिक्षत बाहर निकाल लिया गया था। 

सीएम विंडो तक पहुंची शिकायत
धुमसपुर निवासी मोहित खटाना ने शहर में बिना एनओसी व रिन्यूअल के संचालित हो रहे अस्पतालों की शिकायत सीएम विंडों तक भेजी दी है। हालांकि प्रदेश सरकार की ओर से इसे लेकर कोई कार्रवाई संबंधी आदेश ही दिए गए है। उन्होने बताया ऐसे अस्पतालों की संख्या एक दर्जन से अधिक जो बिना फायर एनओसी के संचालित हो रहे या फिर उनका रिन्यूअल नहीं कराया गया। फायर विभाग की ओर इन अस्पतालों को कई बार नोटिस जारी हो चुके हैं। 

अस्पताल जिनके पास नहीं है एनओसी
गुप्ता अस्पताल सेक्टर-17, शिवा अस्पताल माता रोड, सुखमनी अस्पताल सुबाष नगर, संवित अस्पताल सोहना रोड, शीतला अस्पताल रेलवे रोड, ममता अस्पताल माता रोड, सन राइज अस्पताल खांडसा रोड, आर्विट अस्पताल झाड़सा रोड, गोविंद अस्पताल सोहना रोड, कथूरिया अस्पताल खांडसा रोड, आर्यन अस्पताल रेलवे रोड, सिविल अस्पताल सेक्टर-10, विद्यारोशन चेरीटेबल ट्रस्ट सहित अन्य कई संस्थाओं के पास एनओसी रिन्यूअल नहीं है।

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