परिक्षार्थियों को रोडबेज बसों के अलावा निजी वाहनों में भी नहीं मिली जगह

9/23/2019 1:49:15 PM

रोहतक (संजीव): प्रदेश में शनिवार से शुरू हुई क्लर्क भर्ती प्रक्रिया के दूसरे दिन रविवार को भी परीक्षार्थियों को अव्यवस्थाओं से दो-चार होना पड़ा। दूसरे दिन भी रोडवेज और रेलवे की ओर से परीक्षार्थियों के लिए कोई ठोस इंतजाम नहीं किए गए। आलम यह रहा कि रोडवेज बसों के अलावा निजी वाहनों में भी परीक्षाओं को पैर रखने तक की जगह नहीं मिली। शनिवार शाम से ही परीक्षार्थियों की भारी भीड़ रोडवेज डिपो में देखी गई। सोमवार को परीक्षा का अंतिम दिन है, लेकिन रोडवेज व रेलवे के हालातों में सुधार होने के गुंजाइश कम ही दिखाई दे रही है। 

गौरतलब है कि प्रदेश सरकार द्वारा विभिन्न विभागों में क्लर्क पदों के लिए आवेदन मांगे थे। 4858 पदों के लिए सरकार को करीब 15 लाख 7 हजार आवेदन प्राप्त हुए थे। सरकार की ओर से 21 से 23 सितम्बर तक लिखित परीक्षा लेने का शैड्यूल जारी किया। लेकिन परीक्षार्थियों के परीक्षा केंद्र 200 से 250 किलोमीटर दूर तक दे दिए। ऐसे में परीक्षा केंद्रों तक पहुंचने के लिए परीक्षार्थियों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। परीक्षार्थियों में महिला और लड़कियों की संख्या भी अधिक है।

थकान से चूर-चूर हुए परीक्षार्थी
शनिवार और रविवार को परीक्षा देने गए परीक्षार्थियों को वापस घर पहुंचने में भी काफी मशक्कत करनी पड़ी। परीक्षार्थियों का घर आने का सिलसिला देर रात तक जारी रहा। कई परीक्षार्थियोंने मिलकर निजी वाहन की व्यवस्था तो की थी, लेकिन परीक्षा केंद्रों की दूरी अधिक होने के चलते उन्हें भी थकान ने चूर-चूर कर दिया। कुल मिलाकर इस बार भी सरकारी नौकरी के लिए ली जा रही लिखित परीक्षा ने सरकार और उसकी व्यवस्थाओं की पूरी तरह से पोल खोलकर रख दी।

कब काम आएंगी एमरजैंसी बसें
क्लर्क परीक्षा भर्ती को लेकर रोडवेज विभाग के दावे पूरी तरह से फेल हुए दिखाई दिए। परीक्षार्थियों को कोई परेशानी न हो इसे लेकर विभाग ने बसों का शैड्यूल बनाया था। इसके अलावा रोडवेज ने 15 बसों को एमरजैंसी के लिए रखा है। इन बसों का इस्तेमाल कब किया जाएगा, इसका जवाब विभाग के किसी भी अधिकारी के पास नहीं है। क्योंकि परीक्षार्थी तो समस्याओं से जूझ रहे हैं और एमरजैंसी के लिए लगाई गई बसें, गैराज में खड़ी हैं। कुल मिलाकर विभाग की सारी तैयारी ध्वस्त हो गई।

Isha