कर्नाटक चुनाव परिणाम के बाद ‘सेफ जोन’ में भाजपा

5/16/2018 8:10:52 AM

अम्बाला(वत्स): कर्नाटक के चुनाव परिणामों का पूरा असर प्रदेश की राजनीति पर पडऩा लाजमी है। इन चुनाव परिणामों से जहां भाजपा को ‘बूस्ट’ मिला है वहीं कांग्रेस को निराशा ही हाथ लगी है। कांग्रेस की जीत के दावे करने वाले नेताओं के मुंह पर ताले लटक गए हैं। इन चुनाव परिणामों के बाद प्रदेश भाजपा के नेताओं का उत्साह चरम पर है। इन परिणामों के बाद कांग्रेस व दूसरे दलों के वरिष्ठ नेता भाजपा की ओर रुख कर सकते हैं। भाजपा हाईकमान का पूरा ध्यान अब हरियाणा पर होगा। पार्टी के करीब 1 दर्जन मंत्री हरियाणा में पड़ाव डालेंगे। जल्द ही पीएम मोदी की रैली कराने की तैयारी चल रही है।

गत विधानसभा चुनावों में भाजपा ने मोदी लहर के चलते प्रदेश की 90 में से 47 सीटों पर जीत दर्ज कर प्रदेश में पहली बार अपने दम पर सरकार बनाई थी। भाजपा को 33.2 फीसदी वोट मिले थे। पार्टी हाईकमान ने कई दावेदारों के अरमानों पर पानी फेरते हुए मनोहर लाल खट्टर को सी.एम. बनाया था। खट्टर के लिए शुरूआती दौर काफी मुश्किल भरा रहा। जाट आरक्षण आंदोलन ने खट्टर को सबसे ज्यादा परेशान किया था।

इसके बाद गुरमीत राम रहीम की गिरफ्तारी के समय हुई हिंसा ने भी सरकार को बदनाम करने में कोई कसर नहीं छोड़ी थी। एक बार ऐसा लग रहा था कि खट्टर स्थिति को संभाल नहीं पा रहे हैं। उन्हें हाईकमान बदल सकता है परंतु हाईकमान ने खट्टर से भरोसा नहीं छोड़ा। धीरे-धीरे खट्टर मंझे हुए खिलाड़ी बन गए। सरकार के सामने दूसरी बड़ी चुनौती बार-बार होने वाले आंदोलन रहे हैं। कर्मचारी मांगों को लेकर सड़कों पर उतरते रहे हैं। इस समय नगर निकाय कर्मचारी प्रदेश स्तरीय आंदोलन पर हैं जिससे सरकार की छवि पर नकारात्मक असर पड़ रहा है। 

ऐसा लग रहा था कि आने वाले विधानसभा चुनावों में भाजपा के लिए पिछला प्रदर्शन दोहराना आसान नहीं होगा। कर्नाटक चुनावों को प्रदेश की राजनीति से जोड़कर देखा जा रहा था। ऐसा माना जा रहा था कि अगर कर्नाटक में भाजपा जीत दर्ज करती है तो मोदी का जादू आने वाले चुनावों में हरियाणा में भी दोहराया जा सकता है। प्रदेश सरकार की गिरती साख को देखते हुए कुछ भाजपा नेता चुनावों से पहले नए ठिकाने की तलाश में जुट गए थे। 

राजकुमार सैनी ने तो पहले ही नई पार्टी बनाने की घोषणा कर दी थी। अहीरवाल के एक दिग्गज नेता भी भाजपा को अलविदा कह सकते थे। कर्नाटक चुनावों में भाजपा की जीत के बाद अब पार्टी में नए रक्त का संचार हो गया है। भाजपा का क्रेज बढऩे से दूसरे दलों से भी कुछ नेता भगवा चोला धारण कर सकते हैं। इन चुनाव नतीजों ने एक तरह से भाजपा को ‘सेफ जोन’ में खड़ा करने का काम कर दिया है। 

भाजपा नेताओं को उम्मीद है कि आने वाले समय में भी मोदी की लहर और अमित शाह की रणनीति पार्टी को एक बार फिर सत्ता में लाने का काम करेगी। इन चुनाव परिणामों के बाद सबसे बड़ा झटका उन कांग्रेसी नेताओं को लगा है जो कर्नाटक में कांग्रेस की सरकार बनने के बड़े दावे कर रहे थे।
 

Rakhi Yadav