पुलिस स्मृति दिवस पर सीएम खट्टर की बड़ी घोषणा, 50 पुलिसकर्मियों के परिजनों को मिलेगी नौकरी

10/21/2020 5:57:36 PM

पंचकूला (उमंग): हरियाणा पुलिसकर्मियों के आश्रितों के कल्याण के लिए एक लिए बुधवार को पुलिस स्मृति दिवस पर मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने बड़ी घोषणा की। मुख्यमंत्री ने घोषणा की कि 50 पुलिसकर्मियों के परिवारों के एक-एक सदस्य को 1 नवंबर, 2020 तक राज्य सरकार की एक्स-ग्रेशिया योजना के तहत सरकारी नौकरी दी जाएगी। इसके साथ ही उन्होंने यह भी घोषणा की कि शहीद एसपीओ कप्तान सिंह के परिवार को भी शहीद कांस्टेबल रविंदर सिंह के परिवार को दी जा रही एक्स-ग्रेशिया राशि के बराबर 30 लाख रुपये की अनुदान राशि प्रदान की जाएगी। इन दोनों ने रात्रि गश्त के दौरान असामाजिक तत्वों के हमले में अपनी जान गंवा दी थी।



आज पंचकूला में मुख्यमंत्री मनोहर लाल पुलिस लाइन, मोगीनंद में पुलिस स्मृति दिवस कार्यक्रम के अवसर पर बोल रहे थे। इस अवसर पर उन्होंने वॉर मेमोरियल पर माल्यार्पण कर पुलिस शहीदों को श्रद्धांजलि भी अर्पित की। इस दौरान उनके साथ हरियाणा विधानसभा अध्यक्ष ज्ञान चंद गुप्ता, हरियाणा पुलिस महानिदेशक मनोज यादव सहित अन्य अधिकारी भी मौजूज रहे। 

मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्तमान में पुलिस विभाग में एक्स-ग्रेशिया के 50 मामले लंबित हैं। मैंने इस संबंध में पुलिस महानिदेशक मनोज यादव से बात की है और निर्णय लिया है कि 50 पुलिसकर्मियों के परिवार के एक-एक सदस्य को 1 नवंबर, 2020 तक राज्य सरकार की योजना के तहत सरकारी नौकरी प्रदान की जाएगी।  प्रदेश सरकार ने राज्य सरकार के कर्मचारियों के लिए एक नई एक्स-ग्रेशिया योजना लागू की है, जिसके तहत यदि किसी कर्मचारी की 52 वर्ष की आयु से पहले मृत्यु हो जाती है, तो उसके परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी प्रदान की जाएगी।



भारतीय पुलिस बल के 264 शहीदों को दी श्रद्धांजलि 
पिछले एक साल के दौरान देशभर में अपने कर्तव्य का निर्वहन करते हुए जीवन का बलिदान देने वाले भारतीय पुलिस बल के 264 शहीदों को श्रद्धांजलि देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि इन शहीदों में हरियाणा के भी दो वीर सपूत शामिल हैं। उन्होंने कहा कि यह दिन हरियाणा पुलिस और भारतीय पुलिस के उन बहादुर बेटों को समर्पित है जिन्होंने देश की एकता व अखंडता तथा देश के नागरिकों के जीवन और संपत्ति की सुरक्षा के लिए अपना बलिदान दिया है।

पुलिस कर्मियों के आश्रितों के कल्याण के लिए चलाई जा रही कई योजनाएं
मनोहर लाल ने कहा कि बहादुर जवानों के असामयिक निधन के बाद, यह सरकार की जिम्मेदारी है कि उनके परिवार की देखभाल करे और यह सुनिश्चित करे कि असामयिक निधन के कारण उनके जीवन में खालीपन महसूस न हो। उन्होंने कहा कि हरियाणा सरकार की ओर से कर्तव्य पालन के दौरान शहीद होने वाले पुलिस कर्मियों के आश्रितों के कल्याण हेतू अनेक कल्याणकारी योजनाएं चलाई जा रही हैं। इसके अलावा, पुलिस विभाग द्वारा भी बीमा कवर के एक विशेष समझौते के तहत आश्रितों को 30 लाख रुपये की मुआवजा राशि प्रदान की जाती है। इसके अतिरिक्त, हरियाणा पुलिस ने एक और कल्याणकारी कदम उठाते हुए अपने पेंशनरों के लिए दुर्घटना बीमा मृत्यु कवर के तहत दी जाने वाली राशि को 17 लाख रुपये से बढ़ाकर 30 लाख रुपये कर दिया है।



उन्होंने कहा कि 21 अक्तूबर 1959 को भारत-तिब्बत सीमा पर लद्दाख क्षेत्र में केन्द्रीय रिर्जव पुलिस बल के दस जवान सीमा पर गश्त करते समय चीनी सैनिकों द्वारा घात लगा कर किए गए हमले का शिकार हुए थे, तभी से 21 अक्तूबर को पुलिस स्मृति दिवस के रूप में मनाने की परम्परा आरम्भ हुई थी। तब से आज तक लगभग 35000 पुलिस कर्मियों ने मातृभूमि की सेवा करते हुए आतंकवादियों और असामाजिक तत्वों से लड़ते हुए अपने प्राणों का बलिदान दिया है। वर्ष 1966 में हरियाणा का एक अलग राज्य के रूप में गठन होने के बाद से कुल 80 पुलिस कर्मियों ने राज्य और इसके नागरिकों की सेवा में अपने प्राण न्योछावर किए हैं।

हरियाणा पुलिस की भूमिका की भी सराहना 
मुख्यमंत्री ने कोविड-19 के प्रसार को रोकने के लिए कोरोना वॉरियर्स के रूप में अपने कर्तव्यों का निर्वहन करने के लिए हरियाणा पुलिस की भूमिका की भी सराहना की। उन्होंने कहा कि 2500 से अधिक पुलिसकर्मी अपने कर्तव्यों का पालन करते हुए कोरोना से प्रभावित हुए हैं। इनमें से छ: ने अपनी जान गंवाई है।

vinod kumar