ईडी ने एम3एम के प्रमोटर रूप कुमार बंसल को किया गिरफ्तार

6/9/2023 11:03:57 PM

गुडग़ांव, (ब्यूरो): ईडी (इनफोर्समेंट डाइरेक्टरेट) ने दिल्ली एनसीआर में बड़ी कार्रवाई करते हुए एम3एम के प्रमोटर रूप कुमार बंसल को गिरफ्तार कर लिया है। बंसल को काले धन को सफेद बनाने के मामले (पीएमएलए) में गिरफ्तार किया गया है। सूत्रों के मुताबिक बंसल को वीरवार को ही गिरफ्तार किया गया था।

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प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने हाल ही में आईआरईओ गु्रप और एम3एम गु्रप के ठिकानों पर छापेमारी की थी। यह कार्रवाई निवेशकों से 400 करोड़ रुपये की हेराफेरी करने के आरोप में हुई थी। इस रेड के दौरान ईडी ने 60 करोड़ की लग्जरी कारें और 6 करोड़ की ज्वेलरी जब्त की। रियल एस्टेट कंपनियों के परिसरों की तलाशी के दौरान ईडी द्वारा फेरारी, लैम्बॉर्गिनी, लैंड रोवर, रोल्स रॉयस, बेंटले, मर्सिडीज एवं मेबैक जैसी 17 लग्जरी गाडिय़ां जब्त की गई। इनकी कीमत करीब 60 करोड़ रुपये आंकी गई है। इसके अलावा 5.75 करोड़ रुपये मूल्य के गहने, 15 लाख रुपए नकद और कई अहम दस्तावेज भी बरामद किए गए। इस कंपनी में हरियाणा के एक रिटायर्ड आईएएस का भी बड़ा शेयर है। ईडी का आरोप है कि रेड के दौरान कंपनी के मालिक, निदेशक व अन्य अन्य प्रमुख लोग जांच-पड़ताल से जानबूझकर बचते रहे।

 

जानबूझ कर जांच से बच रहे थे:

ईडी के मुताबिक, एम3एम गु्रप के मालिक, कंट्रोलर और प्रमोटर बसंत बंसल, रूप कुमार बंसल, पंकज बंसल और अन्य प्रमुख व्यक्ति जानबूझकर जांच से बचते रहे। तभी, दिल्ली और गुरुग्राम (हरियाणा) में सात स्थानों पर छापेमारी की गई थी। ईडी निवेशकों और ग्राहकों के फंड को डायवर्ट और हेराफेरी करने के लिए उनके खिलाफ दायर कई एफआईआर के आधार पर आईआरईओ गु्रप की जांच कर रहा है।

 

करोड़ों रुपये की हेराफेरी:

ईडी की जांच से पता चला है कि एम3एम समूह के माध्यम से सैकड़ों करोड़ रुपये की एक बड़ी राशि का गबन किया गया था। एक लेनदेन में, एम3एम समूह ने कई परतों में कई शेल कंपनियों के माध्यम से आईआरईओ समूह से लगभग 400 करोड़ रुपये प्राप्त किए। ईडी ने कहा था कि लेनदेन को आईआरईओ की पुस्तकों में विकास के लिए भुगतान के रूप में दिखाया गया था। भूमि का स्वामित्व एम3एम समूह के पास था, जिसका बाजार मूल्य करीब चार करोड़ रुपये था। शुरुआत में एम3एम गु्रप ने 10 करोड़ रुपये के भुगतान पर पांच शेल कंपनियों को जमीन के विकास अधिकार बेचे। ईडी ने बताया, यह दावा किया गया था कि ये पांच कंपनियां असंबद्ध संस्थाएं थीं। हालांकि, जांच से पता चला कि पांच मुखौटा कंपनियां एम3एम समूह द्वारा संचालित की गई थीं। इसके बाद, इन कंपनियों ने तुरंत उसी भूमि के विकास अधिकार लगभग 400 करोड़ रुपये में आईआरईओ समूह को बेच दिए। एक बार 400 करोड़ रुपये की राशि आईआरईओ गु्रप से प्राप्त हुई थी। पांच शेल कंपनियों ने कई शेल कंपनियों और लेयर्स के माध्यम से एम3एम गु्रप को फंड ट्रांसफर किया।

 

बंसल के निर्देशन में हुआ घालमेल:

ईडी ने यह भी कहा कि सभी शेल कंपनियों का स्वामित्व और संचालन एम3एम गु्रप द्वारा इसके प्रमोटरों, बसंत बंसल, रूप कुमार बंसल और उनके परिवार के सदस्यों के निर्देशन में किया गया था। अधिकारी ने कहा, इस तरह, आईआरईओ और एम3एम ने लगभग 400 करोड़ रुपये की हेराफेरी की, जो निवेशकों और ग्राहकों के थे। इस अपराध की आय एम3एम समूह के पास रही, जिसका उपयोग अन्य निवेशों और देनदारियों का भुगतान करने के लिए किया गया था। दूसरी ओर, आईआरईओ समूह ने भूमि को विकसित करने के लिए कोई प्रयास नहीं किया और हर साल निवेश को बट्टे खाते में डालना शुरू कर दिया।

Content Writer

Pawan Kumar Sethi