बेसहारा पशुओं से किसान परेशान, रात को दे रहे पहरा

3/2/2020 11:36:58 AM

भिवानी : किसान इन दिनों बेसहारा पशुओं से परेशान हैं। इसका कारण यह है कि गांवों में ये बेसहारा पशु खासकर अमरीकन सांड रात के समय किसानों की फसलों को चट कर रहे हैं। इसके चलते किसान इन पशुओं से अपनी फसल बचाने के लिए रात के समय पहरा दे रहे हैं। यहां बता दें कि जिले में कुल 304 गांव हैं। एक भी ऐसा गांव नहीं जहां 50 से कम बेसहारा पशु न हों। हालांकि दिन में ये पशु गांवों में ही घूमते रहते हैं।मगर रात होते ही इनका रुख खेतों की ओर हो जाता है। दूसरी ओर इस समय किसानों की गेहूं, सरसों, जौ और चने आदि की खेती पूरे यौवन पर है। 

खेतों में घुस मचाते हैं उत्पात 
रात के समय ये बेसहारा पशु खेतों में किसानों की फसल को खाने के अलावा बर्बाद भी कर रहे हैं। इसके अलावा जब किसी एक खेत में इन पशुओं खासकर सांडों की संख्या ज्यादा हो जाती है तो ये आपस में लडऩे लग जाते हैं। उनकी इस लड़ाई से किसानों की फसल इन पशुओं के पैरों तले दबकर रौंदी जा रही है। इसलिए जब सुबह किसान अपने खेत में पहुंचता है तो वह इस तरह के बेसहारा पशुओं द्वारा खराब की हुई फसल देखता है तो वह बहुत दुखी होता है। 

किसानों ने रात के समय अपने खेत के पास पहरा देना शुरू कर दिया है। वहीं कुछ गांवों के किसानों ने आपस में मिलकर इन पशुओं को रात के समय गांव से नहीं निकलने देने के लिए बाकायदा गांवों से निकलने वाले रास्तों पर नाकेबंदी भी करनी शुरू कर दी है। इसलिए इन पशुओं के कारण किसानों को दिन में चैन और न ही रात को सुकुन। 

इस बारे में किसान परमानंद, सोनू, सोमबीर, बलवान सिंह, राजबीर, सुंदर सिंह आदि का कहना है कि इस समय उनकी फसलें पकने की ओर हैं। मगर ये बेसहारा पशु रात के समय उनके खेतों में घुसकर उनकी फसलों को बर्बाद कर रहे हैं। सरकार ने शहरों में नंदीशाला तो खोल दी लेकिन उनमें चारे का प्रबंध नहीं। इसलिए ये पशु नंदीशाला से निकलकर फसलों को नुक्सान पहुंचा रहे हैं। उन्होंने प्रशासन से मांग की है कि जिला प्रशासन इन पशुओं को शहरों में बनी नंदीशालाओं में भिजवाए और इनके चारे का प्रबंध करे। 

Isha