हरियाणा विधानसभा: हंगामे के साथ खत्म हुआ सत्र, पास हुए कई अहम प्रस्ताव

12/28/2018 8:33:21 PM

चंडीगढ़(धरणी): हरियाणा विधानसभा का एक दिन का शीतकालीन सत्र शुक्रवार को काफी हंगामों को झेलते हुए बीता और सत्र को अनिश्चितकालीन स्थगित कर दिया गया। सत्र में कई अहम प्रस्ताव पास किए गए, जो प्रदेश की जनता के लिए अत्यंत लाभदायी हैं। पिछले सत्र की तरह इस बार भी सदन में काफी हंगामा हुआ, लेकिन बीती घटनाओं से सतर्क रहते हुए इस बार सदन में सुरक्षा के बंदोबस्त थे। जिस, प्रकार मानसून सत्र में कांग्रेसी विधायक करण दलाल और नेता प्रतिपक्ष अभय चौटाला के बीच जूता शो हुआ था, उसी प्रकार इस बार भी अभय चौटाला राज्य मंत्री कृष्ण बेदी की बात पर भड़क उठे थे, हालांकि इस बार स्पीकर कंवर पाल गुज्जर ने स्थिति संभाल ली।

वहीं मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने सदन में कई अहम प्रस्ताव पास करवाए जो निम्रवत हैं-

  • हरियाणा पुलिस संशोधन बिल पास
  • फरीदाबाद मेट्रोपोलिटन डेवलपमेंट अथॉरिटी बिल पास
  • हरियाणा एप्रोप्रिएशन बिल 2018 पास
  • हरियाणा म्युनिसिपल संशोधन बिल पास
  • हरियाणा म्युनिसिपल दूसरा संशोधन बिल पास
  • हरियाणा प्रदर्शन और दृश्य कला विश्वविद्यालय, रोहतक (संशोधन) बिल 2018 पास
  • पंजाब नई राजधानी (परिधि) नियंत्रण (हरियाणा संशोधन) बिल 2018 पास
  • हरियाणा विधानसभा (सदस्य वेतन, भत्ता तथा पेंशन)द्वितीय संशोधन बिल 2018 पास
  • हरियाणा अभियंता सेवा ग्रुप क, सिंचाई विभाग (संशोधन) बिल 2018 पास
  • हरियाणा विनियोग (संख्या 4) बिल 2018 पास।

इस दौरान मुख्यमंत्री मनोहर ने कहा कि हरियाणा में जल्द ही पुलिस कंप्लेंट एथॉरिटी बनेगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि जल भराव की वजह से जिनकी फसल खराब हुई है उन्हें 10 से 12 हजार रुपये के हिसाब से मुआवजा दिया जाएगा। जिन्होंने फसल बोई नहीं उन्हें भी 6 हजार के हिसाब से मुआवजा दिया जाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि स्टेट लेवल पर पुलिस कम्पलेंड अथॉरिटी का गठन करने जा रहे हैं, जो हाईकोर्ट के रिटायर्ड जस्टिस की देखरेख में कार्य करेगी।



मुख्यमंत्री ने विधायक करण सिंह दलाल का धन्यवाद किया क्योंकि उन्होंने वर्ष 2014 से पहले बिजली निगमों में हुए घालमेल पर रिपोर्ट तैयार की, जिसपर मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार इसकी जांच करवाएगी और जो भी दोषी होगा, उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई होगी।

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वहीं उन्होंने कहा कि आईपीएस अधिकारी को बिजली निगम में लगाने से विपक्ष को तकलीफ क्यों हो रही है। उन्होंने कहा कि एक दूसरे को मण-मण गाली देने वाले करनाल में एक हो गए, वहां ये दल नही दलदल बन गए। हम सोचते थे कि जनता इन्हें चारों खाने चित करेगी, लेकिन जनता ने तो इन्हें पांचों खाने चित कर दिया।

सदन में उठाया करण दलाल ने पब्लिक ट्रांसपोर्ट का मुद्दा का मुद्दा उठाया। जिसपर रामबिलास शर्मा ने कटाक्ष करते हुए कहा कि दलाल भाजपाई थे लेकिन हमने इन्हें हुड्डा जी की छत्रछाया में भेजा था लेकिन आज ये किरण चौधरी की छत्रछाया में जा रहे हैं, इनसे मेरा कहना है कि ये हुड्डा जी की छत्रछाया में ही रहें।

दलाल ने पोलिसिंग बिल पर चर्चा के दौरान कानून व्यवस्था का मुद्दा उठाया तो बख्शीश विर्क ने कहा कि ये कानून व्यवस्था की बात करते हैं, लेकिन 1984 में इन्होंने एक विशेष कौम को मारने का काम किया और आज ये कानून व्यवस्था की बात करते हैं।

Shivam