हरियाणा में है भारत की सबसे अधिक बेरोजगारी दर 37.4%, CMIE की रिपोर्ट ने किया दावा

1/5/2023 1:40:39 PM

स्पैशल डैस्क (रवि प्रताप सिंह) : सेंटर फॉर मॉनिटरिंग ऑफ इंडियन इकनॉमी (सीएमआईई) ने मंगलवार को जारी अपनी रिपोर्ट में दावा किया है कि दिसंबर 2022 में हरियाणा में भारत की सबसे अधिक बेरोजगारी दर 37.4% दर्ज की गई है। इसके बाद राजस्थान (28.5%), दिल्ली (20.8%), बिहार (19.1%) और झारखंड (18%) का स्थान आता है। वहीं, पड़ोसी राज्य पंजाब की हालात हरियाणा से कई अधिक बेहतर है। यहां बेरोजगारी दर 6.8 प्रतिशत है जो बेरोजगारी के राष्ट्रीय औसत दर 8.6% से भी अच्छी है। पंजाब में प्रति 100 व्यक्तियों में से सिर्फ 7 लोग बेरोजगार हैं। बेरोजगारी दर में हिमाचल प्रदेश पंजाब से थोड़ा ही पीछे हैं। पंजाब के 6.8% के मुकाबले यहां बेरोजगारी दर 7.6% है जो पंजाब से 0.8% अधिक है। बता दें कि सेंटर फॉर मॉनिटरिंग ऑफ इंडियन इकनॉमी प्राइवेट लिमिटेड एक निजी संस्था है जो 1976 से सक्रिय है।


सरकारी विभागों में 2 लाख पद पड़े हैं खाली 

सीएमआईई की रिपोर्ट सार्वजनिक होने के बाद से ही विपक्ष प्रदेश के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर को घेरने में जुट गया है। कांग्रेसी नेता और प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री भुपेंद्र सिंह हुड्डा ने बीजेपी-जेजेपी गठबंधन पर निशाना साधा है। उन्होंने सीएमआईई रिपोर्ट का जिक्र करते हुए कहा कि बढ़ती बेरोजगारी दर को नियंत्रित करने के लिए प्रदेश सरकार कोई कदम नहीं उठा रही है। साल महीनें बदल रहे हैं लेकिन राज्य की जनता को कोई राहत नहीं मिल रही है। प्रदेश में बेरोजगारी दर राष्ट्रीय औसत से साढ़े चार गुना अधिक है। वहीं प्रदेश के विभिन्न विभागों में करीब 2 लाख पद खाली पड़े हैं।


बीजेपी से बेहतर नहीं है कांग्रेस: अभय चौटाला  

इंडियन नेशनल लोक दल के नेता अभय चौटाला ने कहा कि यह बहुत ही शर्मनाक है कि बीजेपी गठबंधन ने पिछले 8 सालों में पंजीकरण के नाम पर बेरोजगार युवाओं से 206 करोड़ रुपये इकट्ठे किए हैं। लेकिन सरकार उन्हें रोजगार देने में असफल रही है। वहीं उन्होंने कांग्रेस पर भी तीखा हमला बोला है। उन्होंने राजस्थान की बेरोजगारी दर (28.5%) का जिक्र करते हुए कहा कि कांग्रेस भी बीजेपी से कोई विशेष अच्छी नहीं है।

खाली पड़े पदों को भरने के लिए रेशनाइलाइजेशन कमिशन स्थापित होगा

बेरोजागीर के मुद्दे पर सीएम खट्टर ने विधानसभा सत्र के दौरान विरोधी पक्ष के सभी सवालों के जवाब दिया था। सीएम खट्टर ने कहा था कि प्रदेश सरकार के लिए ये संभव नहीं है कि वह एक तय सीमा से ज्यादा सरकारी नौकरी दे सके। इसकी बजाए उन्होंने घोषणा करी कि सरकार रेशनलाइजेशन कमिशन स्थापित करेगी। ये सभी विभागों में जरूरत के आधार पर खाली पड़े पदों को भरने का काम करेगा लेकिन राजनीतिक कारणों से नहीं।

साल भर में दी जा सकती है केवल 20 हजार नौकरी

सीएम खट्टर ने कहा कि वर्ष भर में केवल 20 हजार सरकारी नौकरी ही दी जा सकती है इससे अधिक नहीं। लेकिन हमने पिछले 8 वर्षों में 1 लाख सरकारी नौकरी दी है। आने वाले समय में हमारे प्रयास है कि हम 50 हजार नौकरी देंगे। हरियाणा कौशल रोजगार निगम स्थापित किया गया है ताकि लोगों को पारदर्शी तरीके से नौकरी दी जा सके। इसके अलावा प्रदेश सरकार ने ओवरसीज प्लेसमेंट सेल बनाया गया है। इसके तहत प्रदेश सरकार विदेश में नौकरी ढूंढने वालें युवाओं को मदद करेगी। मौजूदा समय में कुछ निजी एजेंसियां गलत तरीके से लोगों को बाहर भेजती है। 

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Content Writer

Manisha rana