हरियाणा ने राजस्थान से मांगा 3 नदियों का पानी

3/29/2017 8:40:14 AM

नई दिल्ली:हरियाणा का पंजाब से नदी जल बटवारे का विवाद अभी सुलझा नहीं है कि राजस्थान से पानी के हक की मांग तेज हो गई है। केंद्रीय शहरी विकास राज्यमंत्री राव इंद्रजीत सिंह ने राजस्थान से हरियाणा आने वाली 3 नदियों कृष्णावती, साहबी और दोहान के पानी में राज्य की हिस्सेदारी देने की डिमांड कर दी। पत्रकारों से बातचीत करते हुए केंद्रीय मंत्री ने बताया कि हरियाणा के भाजपा सांसदों की आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ होने वाली बैठक में भी यह मांग उठाई जा सकती है।

उन्होंने कहा कि 1966 में हरियाणा के अलग राज्य बनने से पहले राजस्थान के साथ इन तीनों नदियों का पानी उस समय राज्य के दक्षिणी इलाके को दिए जाने का समझौता हुआ था, लेकिन राज्य के बाद इसे राजस्थान ने भुलाकर कृष्णावती नदी पर कई छोटे-छोटे बांध बनाकर हरियाणा में नदी के प्राकृतिक बहाव को नगण्य कर दिया। इस मुद्दे को 1980 के दशक में हरियाणा की ओर से उठाने पर राजस्थान ने समझौते के वजूद को ही नकार दिया। इस मौके पर उन्होंने कृष्णावती के लिए पैप्सू सरकार और राजस्थान सरकार के बीच 1966 में हुए समझौते का भी जिक्र किया। 

उन्होंने कहा कि हाल ही में सुप्रीम कोर्ट द्वारा पंजाब के साथ सतलुज यमुना नहर (एस.वाई.एल.) मामले में हरियाणा के पक्ष में फैसला सुनाए जाने के बाद राजस्थान के साथ हुए नदी जल समझौते को भी लागू कराने की मांग उठना स्वाभाविक है। राव ने कहा कि एस.वाई.एल. को समझौते की शर्तों के मुताबिक लागू करने का उच्चतम न्यायालय के आदेश के बाद राजस्थान की नदियों से पानी दिलाए जाने की मांग हरियाणा के पानी के हक को दिलवाने का दूसरा पड़ाव है। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने नदी जल समझौतों का पालन सुनिश्चित करवाने को लेकर केंद्रीय जल अधिकरण बनाने की पहल के मद्देनजर हरियाणा को राजस्थान से मिलने वाले पानी का अधिकार दिलवाने की मांग अहम हो गई है। इस बीच राव इंद्रजीत सिंह ने एस.वाई.एल. समझौते को भी शर्तों के अनुरूप तत्काल प्रभाव से लागू कराने की जरूरत पर बल दिया।