शहर में हो रहा गैस सिलैंडरों का अवैध कारोबार, कहीं खुशियां बदल न जाए गम में...

3/3/2020 1:15:23 PM

फतेहाबाद (मनोज) : प्रशासनिक अधिकारियों की लापरवाही कहें या फिर आलसीपन हुडा सैक्टर-3 में गैस लीक कांड के बाद भी जिला प्रशासन ने कोई सबक नहीं लिया और शहर में कई जगहों पर गैस सिलैंडरों का गलत इस्तेमाल जारी है। इतना ही नहीं जिला खाद्य आपूॢत विभाग के अधिकारियों ने भी जोखिम से भरे गैस सिलैंडरों के होने वाले गलत इस्तेमाल को रोकने का प्रयास भी नहीं किया। 

नतीजन शहर की गैस सिलैंडरों की गली के नाम से प्रसिद्ध सैंट्रल बैंक वाली गली व लाल बत्ती पर स्थित प्रताप मार्कीट में खुलेआम सिलैंडर से गैस बेचने का काम जारी है। इसके अलावा विवाह शादियों के कार्यक्रम में एक ही सिलैंडर से कई भठियां चलाई जा रही हैं जो खतरे से खाली नहीं है। अगर विवाह में आगजनी जैसी कोई अनहोनी होती है तो किसी परिवार की खुशियां अन्य परिवार के लिए गम में बदल सकती हैं। यह सब प्रशासन की आंखों के सामने हो रहा है, लेकिन प्रशासन लाचार दिखाई पड़ रहा है।

प्रशासन की ओर से कई सालों से गैस की कालाबाजारी रोकने के लिए कोई अभियान या रेड नहीं की गई है। शायद जिला प्रशासन हुडा सैक्टर निवासी स्व. हरनाम सिंह की मौत के बाद किसी बड़ी अनहोनी के इंतजार में है।इन दिनों विवाह शादियों का सीजन जोरों पर है। शहर की अधिकांश धर्मशालाओं में होने वाले कार्यक्रम में दूल्हा दुल्हन को आशीर्वाद देने के लिए रिश्तेदारों का हुजूम लगा रहा है। 

कार्यक्रम में सिलैंडरों की बचत के लिए आयोजक व कैंटरिंग वाले एक ही गैस सिलैंडरों के कई कनैक्शन करके उन्हें अलग-अलग स्टॉलों तक ले जाते हैं। भीड़ के बीच किसी भी लापरवाही सब पर भारी पड़ सकती है। इस ओर प्रशासन व आयोजन स्थलों के प्रबंधन ने भी कभी ध्यान नहीं दिया है, जो गंभीर विषय है।इसके अलावा लाल बत्ती चौक पर स्थित प्रताप मार्कीट में कई दुकानों पर सरेआम घरेलू गैस सिलैंडरों से कारों में गैस भरने का गोरखधंधा चल रहा है। हालांकि एल.पी.जी. सिलैंडर का गाडिय़ों में इस्तेमाल करना प्रतिबंधित है। बावजूद इसके खाद्य एवं आपूॢत विभाग अधिकारियों की मिलीभगत के चलते यह काम बिना किसी डर के सरेआम हो रहा है।

गैस सिलैंडरों की अल्टा पलटी के कारण इस मार्कीट में गैस की दुर्गंध दिनभर बनी रहती है। इस मार्कीट में सड़क किनारे एक बड़ा ट्रांसफार्मर भी है और कुछ ही दूरी पर गैस वैल्डिंग की दुकान भी है। लालच और जरा सी लापरवाही लोगों के लिए कभी भी आफत बन सकती है। बड़ी बात तो यह है कि सड़क किनारे स्थित इस दुकान के ऊपर से हाईटैंशन तारें गुजर रही है जो कभी भी चिंगारी के कारण आसपास की दुकानों को भी आग की चपेट में सकती है। यदि बात सैंट्रल बैंक वाली गली की करें तो हुडा सैक्टर के गैस लीकेज कांड ताजा हो जाता है।

इस गली में 10-12 दुकानें है, जिसका काम गैस चूल्हे ठीक करने का है, लेकिन वास्तव में कई दुकानों पर गैस चूल्हे ठीक करने की आड़ में बड़े सिलैंडरों से छोटे सिलैंडरों में गैस भरी जाती है। वो भी एक छोटी सी लोहे की पाईप (बांसुरी) के माध्यम से। कई दुकानदारों ने अपनी दुकानों के पास ही खाली कमरों में सिलैंडरों के गोदाम बना रखे हैं। यदि समय रहते शहर में होने वाले गैस सिलैंडरों के गलत इस्तेमाल पर रोक नहीं लगाई जाती है तो आने वाले समय में कोई अनहोनी से कतई इंकार नहीं किया जा सकता। ‘जिंदगी संस्था के अध्यक्ष हरदीप सिंह ने कहा कि इस बाबत हम जल्दी ही उपायुक्त को मांग पत्र भी सौंपेंगे।

Isha