हरियाणा में भी होगा ‘कोवाक्सिन’ का ट्रायल, कोरोना संक्रमितों पर होगा टेस्ट(VIDEO)

7/2/2020 7:53:52 PM

रोहतक (दीपक): भारत की कोविड-19 की पहली संभावित वैक्सीन ‘कोवाक्सिन’ को दवा नियामक डीजीसीआई से पहले व दूसरे चरण के लिए मानव परीक्षण की अनुमति दे दी है। अब इसका ट्रायल हरियाणा के रोहतक पीजीआई समेत देशभर के 13 सेंटर में होगा। इस वैक्सीन को हैदराबाद की फार्मा कंपनी भारत बायोटेक ने तैयार किया है।



इसे इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आईसीएमआर) व नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी पुणे ने मिलकर बनाया है। इसके प्री-क्लीनिकल ट्रायल कामयाब रहे हैं। अब इंसानों पर ट्रायल इसी जुलाई माह से शुरू किए जाएंगे। इस अहम ट्रायल के लिए रोहतक के पीजीआईएमएस के फार्माकोलॉजी विभाग की प्रोफेसर डॉ. सविता वर्मा को प्रिंसिपल इन्वेस्टिगेटर, कोविड-19 के स्टेट नोडल अधिकारी डॉ. ध्रुव चौधरी व कम्युनिटी विभाग के डॉ. रमेश वर्मा को को-इन्वेस्टिगेटर की जिम्मेदारी दी गई है।

इस बारे डॉ. सविता वर्मा ने कहा कि कोरोना से बचाव के लिए बने इस टीके को पीजीआईएमएस में ट्रायल के तौर पर प्रयोग किया जाएगा। उन्हें इस जांच के लिए प्रिंसिपल इंवेस्टिगेटर बनाया गया है और डॉ. ध्रुव चौधरी व कम्युनिटी विभाग के डॉ. रमेश वर्मा को को-इंवेस्टिगेटर बनाया गया है।



उन्होंने बताया कि इस वैक्सीन को हैदराबाद की फार्मा कंपनी भारत बायोटेक ने तैयार किया है। इसे इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आईसीएमआर) व नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी पुणे ने मिलकर बनाया है। इसके प्री-क्लीनिकल ट्रायल कामयाब रहे हैं। अब इंसानों पर ट्रायल इसी जुलाई माह से शुरू किए जाएंगे। 

डॉ. सविता ने कहा कि जानवरों पर इसका ट्रॉयल किया गया था जो सफल हुआ है। उन्होंने कहा कि पहले धीरे धीरे इसका ट्रायल लोगों पर किया जाएगा। डॉ. सविता ने कहा कि इस दवा का रिजल्ट आने में 1 साल तक का समय लग सकता है, अगर बीच में ही रिजल्ट अच्छे आते है तो दवा को ट्रायल के बीच में ही आम लोगों के लिए लाया जा सकता है।



वहीं पीजीआईएमएस के वीसी डॉ ओपी कालरा ने बताया कि यह ट्रायल 2 चरणों में होना है। पहले चरण में 375 व दूसरे चरण में 750 वॉलिंटियर्स को शामिल किया जाएगा। उन्होंने कहा की हमें खुशी है की इस ट्रायल के लिए रोहतक पीजीआईएमएस को चुना गया है और इसके लिए हमने मार्च से ही तैयारी शुरू कर दी थी। 

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vinod kumar