बॉर्डर पर देश की रक्षा करने वाला सेना का जवान इंसाफ के लिए लड़ रहा जंग, बोला- न्याय नहीं मिला तो...

8/9/2020 8:19:34 PM

यमुनानगर (सुमित): देश की आन बान और शान भारतीय सेना हर मुश्किल घड़ी में बड़ी निडरता के साथ हर वक्त हमारी रक्षा के लिए तैयार रहती है। किसी दुश्मन देश को मुंहतोड़ जवाब देना हो या फिर किसी प्राकृतिक आपदा से देश को बचाना, भारतीय सेना के जवान जान हथेली पर रखकर सबसे आगे खड़े रहते हैं, लेकिन इस बीच भारतीय सेना का एक जवान इंसाफ न मिलने इतना परेशान है कि वह आत्महत्या करने को मजबूर है। 



सीने पर भारतीय सेना की वर्दी, दिल में जीवन साथी को खो देने का दर्द और आंखों में सैकड़ों सवाल लिए बीकानेर में भारत पाकिस्तान के पुगल बॉर्डर पर पोस्टेड 180 आर्म्ड ब्रिगेड सिग्नल कम्पनी का जवान रणदीप सिंह निवासी गांव सढूरा यमुनानगर सीएम विंडो पर इंसाफ की गुहार लगाने पहुंचा। 

जवान की माने तो करीब छह साल पहले इसकी शादी घरौंडा में हुई थी। शादी के बाद इनके घर एक बेटी ने भी जन्म लिया। मगर इसके लालची ससुर छोटी-छोटी बात को लेकर इनके घर में दखल देते रहते थे। जब भी वह ड्यूटी पर जाते, तो वह इनकी पत्नी को घर से ले जाते। जिसे रणदीप छुट्टी पर घर जाते हुए अपने साथ ले आता था।



एक दिन जब रणदीप ड्यूटी पर थे और इनकी धर्मपत्नी अपने मायके गई हुई थी तो इन्हें रिश्तेदारों से पता चला कि उनकी पत्नी की मौत हो चुकी है। जिसके बाद जवान रणदीप आनन-फानन में ससुराल पहुंचे तो उनके पहुंचने से पहले ही पत्नी का संस्कार कर दिया गया था। यही नहीं इन्हें जरूरी रस्म क्रियाएं भी नहीं अदा करने दी गई।

आज रणदीप ने सीएम विंडो पर इंसाफ की मांग करते हुए शिकायत दी कि ससुराल वालों ने पहले इनकी पत्नी की हत्या कर दी, फिर उल्टा इसके परिवार पर ही झूठा मामला दर्ज करवा दिया। इसकी छोटी बेटी की भी जिंदगी बर्बाद की जा रही हैं। जो ससुराल वालों के कब्जे में है। 



अब ससुर केस वापिस लेने के एवज में 15 लाख रुपयों की मांग कर रहा है। रणदीप ने रुंधे गले से बोला कि अगर उसके ससुराल वालों के खिलाफ मामला दर्ज कर उन्हें गिरफ्तार नहीं किया गया और उनके झूठे केस रद्द नहीं किए गए तो वह आत्महत्या कर लेगा। 

रणदीप की माने तो उसके बूढ़े मां बाप शुरू से अलग रहते हैं और भाई 14 सालों से दिल्ली रहता है। ऐसे में उनके खिलाफ झूठा केस दर्ज करवाना सरासर अन्याय है। उन्होंने बताया कि उसकी पत्नी भी उसके साथ खुश थी, मगर वह अपने लालची पिता के आगे मजबूर थी। 



तंग आकर उसने कोर्ट में घर बसाने का दावा भी डाला हुआ था, जिसके सम्मन पत्नी द्वारा स्वीकार कर लिए गए थे और इस बात को लेकर भी उसके पिता ने उसे बहुत डांट फटकार लगाई थी। यही नहीं उसके पिता ने पुलिस में दहेज की झूठी शिकायत भी दी थी जो जांच में झूठी पाई गई थी।

रणदीप अपनी बच्ची को लेकर हर पल चिंता में घिरा रहता है, वह हर माह अपनी बेटी के लिए सेविंग भी कर रहा है। सुकन्या समृद्धि योजना के तहत अब तक वह 70 हजार रुपए जमा करवा चुका है। इसके अलावा उसने एक लाख रुपयों की एफडी भी करवाई हुई है। 



अपनो से इंसाफ की जंग लड़ रहा यह फौजी अब तक हरियाणा के गृह एवं स्वास्थ्य मंत्री, सीएम विंडो, आईजी करनाल रेंज, एसपी करनाल, एसपी यमुनानगर के दरबार में इंसाफ की गुहार लगा चुका हैं। अपनी पत्नी की मौत की जांच करवाने और बेटी का अधिकार पाने के लिए शासन व प्रशासन के ना जाने कितने दरवाजों पर दस्तक दे चुका हैं। मगर फिलहाल अब तक इसके हाथ निराशा के सिवाए कुछ नहीं लगा हैं।

Edited By

vinod kumar