सोनिया की धृतराष्ट्र से तुलना करते हुए केन्द्रीय राज्यमंत्री ने राहुल गांधी को बताया ''नालायक बेटा''

10/3/2020 11:09:36 PM

पलवल (गुरुदत्त): केंद्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता राज्यमंत्री कृष्णपाल गुर्जर ने कृषि केंद्र सरकार द्वारा पारित तीनों कृषि कानूनों पर प्रेस वार्ता की। इस दौरान वे कांग्रेस पर बरसते हुए सोनिया गांधी को धृतराष्ट्र व राहुल गांधी को 'नालायक बेटा' करार दे दिया। गुर्जर ने कहा कि जैसे धृतराष्ट्र अपने नालायक बेटे को राजगद्दी पर बैठाना चाहता था, वैसे ही सोनिया गांधी अपने अयोग्य बेटे को कोई न कोई भ्रम फैलाकर राजगद्दी पर बैठाना चाहती हैं।

गुर्जर ने कहा कि मोदी सरकार ने किसानों के लिए मानसून सत्र में जो कृषि विधेयक पास किए हैं, वो किसानों के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण और क्रांतिकारी कदम है। उन्होंने कहा कि किसानों की आर्थिक मजबूती के लिए दशा और दिशा तय करने का काम ये कानून करेंगे। उन्होंने कहा कि मोदी सरकार शुरू से ही प्रयासरत है कि किसानों को उसकी फसल का लाभकारी मूल्य मिले और उसकी आय को बढ़ाया जाए।

मोदी सरकार किसान कल्याण से जुड़ी अनेकों योजनाएं लेकर आई और वर्तमान में लाए गए तीनों कृषि कानूनों का मूल उद्देश्य भी यही है। मोदी सरकार ने इन बिलों के माध्यम से किसान को अपनी फसल देश के किसी भी कोने में बेचने की आजादी दी। अपनी फसल की बिक्री को लेकर बहुत से विकल्प किसान के सामने रख दिए। उन्होंने कहा कि पहले जब किसान कॉन्ट्रेक्ट फॉर्मिंग करता था, तो उसके लिए कोई लिखा-पढ़ी नहीं होती थी और किसान असुरक्षित महसूस करता था। अब कॉन्ट्रेक्ट फार्मिग को कानून के दायरे में लाकर किसान के हितों को सुरक्षित किया है। 

गुर्जर ने कहा कि किसान को जो अधिकार पहले प्राप्त थे, उनसे किसी तरह की कोई छेड़छाड़ नहीं की गई और सबसे बड़ी बात है कॉन्ट्रेक्ट करने वाली कम्पनी को कॉन्ट्रेक्ट तोडऩे का अधिकार नहीं होगा, जबकि किसान को यह अधिकार होगा कि वह कभी भी कॉन्ट्रेक्ट को तोड़ सकता है।

गुर्जर ने कहा कि यह बहुत ही दु:ख की बात है कि कांग्रेस समेत कई राजनीतिक दल अपने राजनितिक स्वार्थों को पूरा करने के लिए किसानों के हित में लाए गए इन बिल का विरोध कर रहें हैं और एक भ्रम की स्थिति देश के अन्नदाता के मन में पैदा करने का काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा विपक्ष आज केवल गुमराह करने वाली बातें कर रहा है, जिनका कोई आधार नहीं है। मै आप सबके माध्यम से देश के किसानों को आश्वस्त करना चाहता हूँ कि फसलों की एमएसपी और मंडी व्यवस्था में कोई बदलाव नहीं किया गया।

Shivam