लखबीर हत्याकांड मामला: दो अन्य निहंग सरदारों ने किया आत्मसमर्पण, पहले की अरदास

10/16/2021 10:07:36 PM

सोनीपत (पवन राठी): सिंघु बॉर्डर पर लखबीर हत्याकांड मामले से जुड़ी एक बड़ी खबर सामने आई है। यहां इस मामले को लेकर दो अन्य निहंग सरदारों ने पुलिस के सामने आत्मसमर्पण किया है। आत्मसमर्पण करने वाले निहंग सरदारों भगवंत सिंह व गोविंद सिंह ने अरदास के बाद आत्मसमर्पण किया है। दोनों निहंग सरदारों को कुंडली थाना पुलिस और क्राइम ब्रांच की टीम अपने साथ लेकर गई है। थोड़ी ही देर में सोनीपत सिविल अस्पताल में दोनों का मेडिकल कराया जाएगा। निहंग सरदारों के आत्मसमर्पण की पुष्टि सोनीपत एसपी जशनदीप रंधावा ने की है।

गौरतलब है कि पंजाब के तरनतारन के रहने वाले लखबीर पर गुरुग्रंथ साहिब की बेअदबी का आरोप लगाकर उसकी बेरहमी से हत्या कर दी गई थी। लखबीर का हाथ हथेली से काटकर अलग कर दिया गया था और पैर भी काट दिया गया था। इतनी बर्बरता करने के बाद आरोपियों ने लखबीर के शव को बैरिकेड पर बांधकर सिंघु बॉर्डर के धरनास्थल के बाहर टांग दिया गया था। वहीं मामले से जुड़े कुछ वीडियो भी वायरल हुए हैं,जिनमें कुछ निहंग सरदारों को यह कहते हुए सुना गया कि लखबीर को उन्होंने ही मारा है।

निहंग सर्वजीत सिंह 7 दिन की रिमांड पर


लखबीर हत्याकांड मामले में बीते दिन सरेंडर करने वाले निहंग सर्वजीत सिंह को 7 दिन की रिमांड पर लिया है। इस मामले को एससीएसटी एक्ट भी जोड़ा गया है। इसके साथ ही अब इस मामले की जांच डीएसपी द्वारा की जाएगी। सूत्रों के मुताबिक इस निर्मम हत्याकांड मामले में अभी कई और लोगों को गिरफ्तार किया जाएगा। एक तरफ पुलिस जांच कर रही है तो दूसरी ओर हत्या का ये मामला अब सुप्रीम कोर्ट तक पहुंच गया है, जिसमें सिंघु बॉर्डर को खाली करवाने की मांग की गई है। याचिका में कहा गया है कि इस मामले की जल्द से जल्द सुनवाई होनी चाहिए।

संयुक्त किसान मोर्चा ने दी अपनी सफाई


वहीं संयुक्त किसान मोर्चा इस नृशंस हत्या की निंदा करते हुए यह स्पष्ट किया है कि इस घटना के दोनों पक्षों, इस निहंग समूह/ग्रुप या मृतक व्यक्ति, का संयुक्त किसान मोर्चा से कोई संबंध नहीं है। वह किसी भी धार्मिक ग्रंथ या प्रतीक की बेअदबी के खिलाफ हैं, लेकिन इस आधार पर किसी भी व्यक्ति या समूह को कानून अपने हाथ में लेने की इजाजत नहीं है। मोर्चा ने मांग रखी है कि इस हत्या और बेअदबी के षडयंत्र के आरोप की जांच कर दोषियों को कानून के मुताबिक सजा दी जाए। संयुक्त किसान मोर्चा किसी भी कानून सम्मत कार्यवाही में पुलिस और प्रशासन का सहयोग करेगा। लोकतांत्रिक और शांतिमय तरीके से चला यह आंदोलन किसी भी हिंसा का विरोध करता है। 

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Content Writer

Shivam