मसाला मंडी निर्माण मामला: 50 एकड़ की आवश्यकता, अब तक मिली महज 16(VIDEO)

punjabkesari.in Monday, Dec 30, 2019 - 01:24 PM (IST)

राई(स.ह.): दिल्ली की खारी बावली में स्थित मसाला व ड्राईफ्रूट मंडी को सेरसा गांव में शिफ्ट करने का प्रोजैक्ट जमीन के अभाव में अधर में लटका हुआ है। मंडी निर्माण के लिए करीब 50 एकड़ जमीन की आवश्यकता है परन्तु अब तक सरकार को महज 16 एकड़ जमीन ही मिल पाई है। प्रोजैक्ट हो सिरे चढ़ाने के लिए रविवार को कृषि मंत्री जे.पी. दलाल ने सेरसा गांव का दौरा किया तथा मंडी के लिए मिली जमीन का निरीक्षण किया।

इस दौरान उन्होंने ग्रामीणों का आह्वान किया कि प्रोजैक्ट को सफल बनाने के लिए सहयोग करें ताकि क्षेत्र के विकास को नई दिशा दी जा सके।  गौरतलब है कि भाजपा सरकार की पहले कार्यकाल में दिल्ली की खारी बावली स्थित मसाला और ड्राईफ्रूट मंडी को सोनीपत के सेरसा गांव में शिफ्ट करने की कवायद शुरू की गई थी। इसके लिए सेरसा गांव की पंचायत के साथ-साथ दिल्ली के व्यापारियों के साथ कई दौर की बैठकें आयोजित की गई थीं। व्यापारियों ने मंडी के लिए करीब 50 एकड़ जमीन की डिमांड की थी परन्तु जमीन उपलब्धता को लेकर पेंच फंस गया था जिसके बाद यह प्रोजैक्ट ठंडे बस्ते में चला गया था लेकिन अब बार फिर से सरकार ने इस प्रोजैक्ट को सिरे चढ़ाने की कवायद शुरू कर दी है। 

खारी बावली मंडी में होता है 40 हजार करोड़ का कारोबार  
सेरसा गांव में पहुंचे कृषि मंत्री जे.पी. दलाल ने बताया कि दिल्ली की खारी बावली मसाला व ड्राईफ्रूट मंडी को सोनीपत के सेरसा गांव में शिफ्ट करने की योजना को हरियाणा सरकार ने मंजूर किया है। दिल्ली की मसाला मंडी में फिलहाल 40 हजार करोड़ रुपए का कारोबार होता है और यहां मंडी आने के बाद यह पूरा व्यापार यहां शिफ्ट हो जाएगा। सरकार को राजस्व का लाभ होगा और इससे आस-पास के करीब 50 हजार लोगों को रोजगार भी मिलेगा।

उन्होंने कहा कि सरकार सहमति से जमीन लेती है इसलिए ग्राम पंचायत द्वारा जमीन की सहमति आते ही मुख्यमंत्री से बात कर तुरंत काम शुरू करवा दिया जाएगा। सेरसा में प्रस्तावित मंडी की जमीन के.एम.पी. व के.जी.पी. के नजदीक है और यहां से देश में कहीं भी माल भेजा जा सकता है। इसके साथ ही दिल्ली के व्यापारी रात को अपने घर भी आसानी से जा सकते हैं।

अधिकारियों को दिए निर्देश, किसानों के कौशल विकास पर करें फोकस 
कृषि मंत्री ने अधिकारियों को भी निर्देश दिए कि वे किसानों के कौशल विकास के लिए अच्छे प्रशिक्षण कोर्स तैयार करें। किसानों व उनके बच्चों को अच्छा प्रशिक्षण मिलेगा तो वह बागवानी, मत्स्य व मशरूम जैसे कार्यों से अपनी आय बढ़ा सकते हैं और विदेशों में भी जा सकते हैं। युवाओं को कृषि, बागवानी व पशुपालन जैसे व्यवसायों के लिए लोन देने में भी मदद की जाएगी। इसके अतिरिक्त उन्होंने बताया कि गन्नौर की इंडिया इंटरनैशनल हाॢटकल्चर मार्कीट जल्द ही अपने पूरे स्वरूप में होगी। इस दौरान राई के विधायक मोहन लाल बड़ौली, हरियाणा राज्य मार्कीटिंग बोर्ड की चेयरपर्सन कृष्णा गहलावत, मार्कीट कमेटी के चेयरमैन कुलदीप नांगल, वीरेंद्र चोटीवाला, ताहर सिंह चौहान, मोनू सरपंच, अशोक कौशिक, अरुण चौहान सहित बड़ी संख्या में ग्रामीण मौजूद थे।

मोहन लाल बड़ौली  विधायक, राई ने कहा कि मसाला मंडी जमीन के अभाव में रुकी हुई थी। सरकार को जितनी भी जमीन की आवश्यकता होगी, दी जाएगी ताकि यहां जल्द मंडी की स्थापना हो। इस मंडी के निर्माण के बाद यहां रोजगार के नए अवसर खुलेंगे और क्षेत्र का विकास होगा। 
    
जे.पी. दलाल, कृषि  मंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार किसानों के हित के लिए लगातार कार्य कर रही है। गन्नौर की इंडिया इंटरनैशनल हाॢटकल्चर मार्कीट जल्द ही अपने पूरे स्वरूप में होगी। वहीं जमीन मिलते ही सेरसा गांव में भी दिल्ली की खारी बावली मसाला मंडी को शिफ्ट करने का काम शुरू कर दिया जाएगा। सरकार का मुख्य उद्देश्य ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत करना है। 
    


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Edited By

vinod kumar

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