निर्मल यमुना की धारा को दूषित कर रहे खनन वाहन, ग्रामीणों ने की पुल बनाने की मांग

3/22/2021 4:40:39 PM

यमुनानगर (सुमित ओबेरॉय): दुनिया भर में आज विश्व जल दिवस मनाया जा रहा है। इस विश्व जल दिवस पर हम आपको यमुना सेवा समिति से जुड़े ग्रामीणों के हौंसले की कहानी बता रहे हैं, कैसे ग्रामीणों ने कनालसी गांव से निकल रही यमुना नदी की स्वच्छ, सुंदर बना दिया और उसे जिंदा रखा। लेकिन आज उनका हौंसला कुछ पस्त हो रहा है क्योंकि खनन सामग्री के वाहन उनके प्रयासों को धूमिल कर रहे हैं। 



एक तरफ केंद्र सरकार नदियों को स्वच्छ बनाने के लिए करोड़ों रुपए खर्च रही है। दूसरी तरफ यमुनानगर में यमुना सेवा समिति के प्रयासों से स्वच्छ और निर्मल यमुना नदी की धारा दूषित हो रही है। दरअसल, कनालसी गांव से यमुना, सोम नदी और थपाना नदी का संगम होता है। यमुना सेवा समिति के प्रयासों से यहां से निकल रही यमुना का जल इतना स्वच्छ और निर्मल है कि नदी से आरपार सब शीशे की तरह नजर आता है। लेकिन नदी के बीच से खनन सामग्री के वाहन निकलते हैं, जिससे स्वच्छ यमुना दूषित हो रही है। इससे ग्रामीणों ने सरकार से सोम नदी पर अस्थाई पुल बनाने की मांग की है, जिससे वाहन नदी के बीच से नहीं निकलेंगे। 



ग्रामीणों का कहना है कि अवैध खनन के चलते यहां आज से दस साल पहले जो पक्षियों की प्रजातियां थी वो लुप्त होती जा रही हैं, सरकार इस ओर ध्यान दे नहीं तो ये स्वच्छ निर्मल धारा पूर्णत: दूषित हो जाएगी जिसकी स्वच्छता की तारीफ लंदन और विदेशों से आये कई शोधकर्ताओं ने की है। 

यमुना सेवा समिति के अध्यक्ष किरण पाल राणा ने बताया कि  हमने अपना पर्यावरण बचाने के लिए और  जलीय जीव बचाने के लिए प्रयास किया और यहाँ से कई किलो मीटर तक यमुना की स्वच्छ और निर्मल धारा बह रही है। इसलिए हमारा सरकार से एक ही निवेदन है स्थाई या अस्थाई कोई जो भी संभव हो सके वह पुल सोम नदी पर बनाया जाए। जिससे कि जलीय जीव और जो पक्षी हैं वह आराम से रह सकें और उनकी प्रजातियां बढ़ सकें। 

Content Writer

Shivam