न पुस्तक और न वैक्सीन लेकिन सरकार को स्कूल खोलने की जल्दी : शैलजा

7/31/2021 8:24:20 AM

चंडीगढ़ : हरियाणा कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष कु. शैलजा ने कहा कि प्रदेश सरकार स्कूली बच्चों तक पाठ्य पुस्तकें पहुंचाने की जिम्मेदारी से भाग रही है। प्राइमरी स्कूलों का उदाहरण सामने है जहां पाठ्य पुस्तकें मिली नहीं लेकिन स्कूल खोलने का फरमान जारी कर दिया गया। अभिभावक पूछ रहे हैं कि आखिर सरकार को किस बात की जल्दी है? न पुस्तकें दे रही है और न कोरोना से बच्चों की सुरक्षा सुनिश्चित कर पा रही है।

शैलजा ने कहा कि अगस्त के पहले सप्ताह में प्राइमरी स्कूल खोलने की घोषणा तो सरकार ने कर दी, लेकिन यह नहीं बता रही कि पुस्तकें कब तक पहुंचाएगी? बिना पुस्तक बच्चे स्कूल जाकर करेंगे क्या? नए फरमान का औचित्य तो बताया जाए। शैलजा ने कहा कि 16 जुलाई को 9वीं से 12वीं और 23 जुलाई को छठी से 8वीं तक के स्कूल खोल दिए गए, अब प्राथमिक स्कूलों की बारी है। सरकार ने न तब किसी की सलाह मानी थी, न अब मानने को तैयार लगती है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में 1 हजार से अधिक राजकीय मॉडल संस्कृति प्राइमरी स्कूल खोले गए थे। उनमें भी किताबें नहीं दी गईं। इन बच्चों की संख्या करीब 50 हजार है और उनसे अतिरिक्त शुल्क वसूला जाता है। उन्होंने दोहराया कि प्राइमरी स्कूल खोलने का समय चिंताजनक है। सर्वोच्च चिकित्सा संस्थानों ने अगस्त के दूसरे से तीसरे सप्ताह में कोरोना की तीसरी लहर आने की आशंका जताई है। स्कूल खुलने के बाद किसी बच्चे को कोरोना हो गया तो कौन जिम्मेदार होगा?

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Content Writer

Manisha rana