पटरी पर फिर उतरेगा खिलाड़ियों का आंदोलन, महिला पहलवानों के गांव बलाली से उठेगी चिंगारी(VIDEO)

5/31/2023 5:55:10 PM

चरखी दादरी (पुनीत श्योराण) : यौन शोषण मामले को लेकर अंतर्राष्ट्रीय पहलवानों द्वारा मेडलों को गंगा में प्रवाहित करने के फैसले व बाद में किसान नेताओं के समझाने के बाद से बने हालातों को लेकर विनेश व संगीता फोगाट के गांव बलाली के ग्रामीण काफी गुस्से में हैं। बीती देर रात गांव में पंचायत करते हुए बेटियों के पक्ष में आंदोलन को पटरी पर लाने के लिए तैयार रहने का निर्णय लिया गया। बता दें कि इसी गांव से आंदोलन की चिंगारी शुरू हुई थी। उनका कहना है कि अब खाप ही नहीं, पूरे प्रदेश-देश की जनता मैदान में उतरेगी। हम बेटियों की इज्जत तार-तार होते नहीं देख सकते।

गांव बलाली के मुख्य चौक पर ताश खेलते ग्रामीण खिलाड़ियों के मामले को लेकर चर्चा करते दिखाई दिए। इसी मुद्दे को लेकर ग्रामीणों से चर्चा की गई तो उनमें खिलाड़ियों के साथ हुई घटनाओं को लेकर काफी गुस्सा था। उन्होंने कहा कि वे बेटियों को दुखी नहीं देख सकते। उनके गांव की बेटियों ने मेडल जीतने के लिए अपनी पूरी जिंदगी दांव पर लगा दी थी और अब मजबूर होकर उनको अपने मेडल गंगा में प्रवाहित करने का फैसला लेना पड़ा। किसान नेताओं ने बेटियों के हालातों को समझते हुए मौके पर पहुंचकर देश की आबरू बचा ली। अब खिलाड़ियों का आंदोलन फिर से पटरी पर उतरेगा और इसकी शुरूआत गांव से हो चुकी है। अब खापों के आदेशों का इंतजार रहेगा, तुरंत पूरा गांव आंदोलन के लिए तैयार है।

हुक्के पर चर्चा करते हुए ग्रामीण राजेश सांगवान, बुजुर्ग कमल सिंह, प्रवीन, दिलवार व हरीश ने बताया कि गांव की बेटियां नहीं पूरे देश की आन-बान व शान हैं। सबकुछ दांव पर लगाकर खिलाड़ियों ने मेडल जीतकर देश का नाम रोशन किया है। बेटियों की मेहनत से देश को मेडल मिले हैं, ये मेडल मोदी बृजभूषण की देन नहीं हैं। अब खाप ही नहीं पूरे प्रदेश-देश की जनता मैदान में उतरेगी और आगामी चुनावों में आईना दिखाएंगे। बृजभूषण शरण की गिरफ्तारी करने में सरकार मौन है। अब तो समय आने पर उनका गांव ही नहीं देश की जनता सबक सिखाएगी। सरकार का घमंड टूटेगा और बेटियों की जीत होगी।

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Content Editor

Mohammad Kumail