मनेठी एम्स का शिलान्यास नवंबर में होने के आसार: राव इंद्रजीत सिंह

9/18/2021 9:30:37 AM

रेवाड़ी (योगेंद्र सिंह): अहीरवाल में जुबानी जंग और बयानबाजी का दौर लगातार जारी है। पहले कांग्रेसी लगातार केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत सिंह पर अपने बाणरूपी शब्दों से हमले कर रहे थे और अब उसका करारा जवाब देने का दौर जारी है। तीन दिन पहले कांग्रेसियों पर हमले करने पश्चात आज एक बार फिर केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत सिंह ने विपक्ष पर हल्ला बोला। शुक्रवार को रेवाड़ी, बावल में कई योजनाओं का श्रीगणेश करने पश्चात केंद्रीय मंत्री ने कहा कि मनेठी में एम्स के लिए जमीन का काम पूरा हो चुका है। संभवत : नवंबर माह में इसका शिलान्यास किया जा सकता है।

राव इंद्रजीत सिंह ने कहा कि एम्स के लिए 228 एकड़ जमीन के चुनाव का काम पूरा हो चुका है। सब कुछ सही रहा तो दो महीने पश्चात इसके काम का श्रीगणेश हो जाएगा। किसानों को मुआवजा देने की प्रक्रिया चल रही है। साथ ही एससीओ के लिए और जमीन की आवश्यकता पड़ेगी। इस अवसर पर राव इंद्रजीत सिंह ने कोविड समय में उनके क्षेत्र में नहीं आने के कांग्रेसियों के बयान पर कहा कि यदि वह उस समय फील्ड आते तो बीमार हो सकते थे। बीमार होने के कारण फिर क्षेत्र की जनता की समस्या और उन्हें कोरोना से राहत कैसे दिला पाता। इसी के चलते एक जगह बैठकर उनके लिए काम किया। 

कोविड खत्म होने पश्चात विरोधी बाहर निकले और फोटो सेशन के माध्यम से आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू कर दिया। कोविड में तो वह अपने घरों में दुबके रहे और लोगों को उनके हाल पर छोड़ दिया। राव इंद्रजीत सिंह ने कहा कि उन्होंने अकेले रेवाड़ी नहीं बल्कि पूरे हरियाणा में ऑक्सीजन की सुचारू आपूर्ति के लिए प्रयास किए और लोगों तक ऑक्सीजन भी पहुंचाई। हालांकि आज राव इंद्रजीत सिंह द्वारा कई प्रोजेक्ट का शुभारंभ किया गया ओर इस दौरान कई बार कोविड की गाइड लाइन तार-तार होती रही। हालांकि खुद राव इंद्रजीत सिंह ने मंच से लोगों को चेताया और गाइड लाइन का पालन करने की अपील भी की।

चीन-पाक के बाद अब अफगान घूर रहा देश को
राव इंद्रजीत सिंह ने कहा कि देश हमेशो से ही शहीदों को नमन करता आया है और आगे भी करता रहेगा। देश के सामने कई विकट स्थिति है और चीन व पाक पहले से ही देश को घूर रहे थे और अब अफगानिस्तान का नाम भी इस लिस्ट में शामिल हो गया है। देश सुरक्षित रहे इसके लिए हमारे युवाओं को सेना में जाना चाहिए। रही बात देशवासियों की तो उन्हें शहीदों का सम्मान करना चाहिए। यदि वह ऐसा नहीं करेंगे तो फिर कौन शहादत का घूंट पीने के लिए आगे आएगा।

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vinod kumar