अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव: सांस्कृतिक संध्या में सरताज ने सूफी गानों से जमाया रंग

12/9/2019 12:59:28 PM

कुरुक्षेत्र(ब्यूरो) : अंतर्राष्ट्रीय गीता महोत्सव के मुख्य पंडाल में सायं 5 बजे से सूफी गायक सतिन्द्र सरताज को सुनने के लिए टकटकी लगाकर बैठे रहे और जैसे ही सूफी गायक मंच पर पहुंचे तो हजारों दर्शकों ने खड़े होकर अभिवादन किया और दर्शकों को शोर तब तक बंद नहीं हुआ, जब तक सतिन्द्र सरताज ने गाना शुरु नहीं किया। इस सांस्कृतिक संध्या का लोग बेसब्री से इंतजार कर रहे थे और जैसे ही मेहमानों ने दीप प्रज्वलित करके सांस्कृतिक कार्यक्रम का शुभारम्भ किया तो दर्शकों के इंतजार की घडिय़ां भी खत्म हो गई।

इस गायक की एक झलक पाने के लिए हजारों दर्शक अपनी सीटों से खड़े हो गए और गायक सतिन्द्र सरताज ने अपने चिर-परिचित अंदाज में वाहे गुरु का नाम लेकर अपने कार्यक्रम को शुरु किया। इस धार्मिक गायन के साथ ही सतिन्द्र ने अपना सुप्रसिद्घ सूफी गीत साई वे साई साडी फरियाद तेरे थाईं..., सानू प्यार दी चढ़ीया खुमारियां मेरे पैर ना जमीन ते लगदे, तुम्हे दिल्लगी भूल जाने पड़ेगी..., मेरी हीरिये, मेरी हीरये तेरी खूशबूं नशीली मर जानईये..., सज्जन राजी हो जवे बाबुला वे रोला नई पाईदा आदि प्रस्तुत करके सभी दर्शकों की मांग को भी पूरा किया। इस मौके पर सौरव चौधरी, उपेन्द्र सिंघल, डा. मधुदीप, विजय नरुला, रविन्द्र सांगवान, भाजपा के जिला अध्यक्ष धर्मवीर मिर्जापुर के अलावा बड़ी संख्या में दर्शक मौजूद थे। 

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vinod kumar