अन्तर्राष्ट्रीय अवॉर्ड के लिए भारत से नामित हुए सुखविन्द्र नारा

10/1/2020 11:43:48 AM

चंडीगढ़(चन्द्रशेखर धरणी): पंजाब एवं हरियाणा के एडवोकेट, इंग्लैंड एवम् वेल्स की सीनियर कोर्ट के सॉलिसिटर सुखविन्द्र नारा को अन्तर्राष्ट्रीय बार एसोसिएशन, लंदन द्वारा वार्षिक प्रो बोनो अवॉर्ड के लिए नामित किया गया है, उनको सुप्रीम कोर्ट के सीनियर एडवोकेट संजय हेगड़े व इंग्लैंड के विंस्टन चर्चिल ट्रस्ट की फैलो और आंचल वूमेन ऐड की सीईओ सुदर्शन भूही द्वारा इस अवॉर्ड के लिए नॉमिनेट किया गया था ।

अन्तर्राष्ट्रीय बार एसोसिएशन पूरे विश्व की बार एसोसिएशनस को मिलाकर 1947 में बनी थी जिसका हेड ऑफिस लंदन में है, विश्व के 170 देशों की प्रतिष्ठित ला फर्मस, बार एसोसिएशनस और लॉ सोसायटीज इसकी सदस्य हैं। विश्व के हर देश के वकीलों में से चुनिंदा वकीलों को जिन्होंने सामाजिक क्षेत्र में अपनी मुफ्त कानूनी सहायता द्वारा लोगों की मदद की हो और मानवाधिकारों के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य किया हो उन्हें अन्तर्राष्ट्रीय बार एसोसिएशन हर साल अवॉर्ड के लिए नामित करती है। इस बार पूरे विश्व में से सात वकील जिनमे अमेरिका से बेकर मैकेंजी लॉ फर्म की एंजेला विजिल,  लंदन के कार्मेलाइट चैंबर्स से फेलिसिटी गेरी, डॉटी स्ट्रीट चैंबर्स से जिम्रान सैमुएल, बांग्लादेश की लीगल इन से इशरत हसन, पाकिस्तान के लाहौर से मियां लॉ चैंबर्स के मोहम्मद अहमद, इक्वाडोर से रॉबर्ट पुर्टास और भारत से सुखविंद्र नारा को नामित किया गया है । नारा को सीनियर सिटीजंस, महिलाओं, गरीब और दलितों के मुफ्त में केस लड़ना और कानूनी सहायता देना, गांवों में मुफ्त कानूनी सहायता एवं जागरूकता शिविर लगाने और अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर मानवाधिकारों की रक्षा के लिए उत्कृष्ट कार्य करने के लिए भारत से अंतराष्ट्रीय प्रो बोनो अवॉर्ड के लिए चुना गया । 

इस अवसर पर बार काउंसिल ऑफ पंजाब एवं हरियाणा के पूर्व चेयरमैन रणधीर सिंह बधरान ने कहा कि सुखविन्द्र नारा एक अंतर्राष्ट्रीय वकील है जो मानवाधिकारों की रक्षा के लिए जाने जाते है, भारत से इस अन्तर्राष्ट्रीय अवॉर्ड के लिए उनका चुने जाना पूरे देश के लिए गर्व की बात है, उन्होंने कहा कि पूरे साउथ एशिया से भारत, पाकिस्तान और बांग्लादेश जो कभी एक थे तीनों मुल्कों के वकीलों को एक साथ अवॉर्ड के लिए नामित होना और भी गर्व का विषय है उन्होंने इस अवसर पर सातों वकीलों को बधाई दी और कहा कि उन्हें उम्मीद है कि भारत से हर साल कोई न कोई वकील इस अवॉर्ड के लिए नामित होता रहेगा।

 

Isha