शिक्षक दिवस पर हरियाणा में टीचरों ने फूंका शिक्षा मंत्री का पुतला, बांधी काली पट्टी

9/5/2020 4:09:13 PM

जींद/चरखी दादरी/गुरुग्राम: शिक्षक दिवस के मौके पर जहां देश के चयनित 47 अध्यापकों को राष्ट्रपति द्वारा नेशनल अवार्ड से सम्मानित किया गया। वहीं हरियाणा के टीचर अपने अधिकार की लड़ाई लड़ते हुए शिक्षक दिवस को काले दिवस के रूप में मनाया। प्रदेश के विभिन्न स्थानों पर टीचरों ने सरकार के खिलाफ नारेबाजी की और जींद में प्रदेश के शिक्षा मंत्री का पुतला भी फूंका गया।

जींद में सुप्रीम कोर्ट द्वारा हटाए गए 1983 पीटीआई टीचरों की बहाली करने एवं सरकार द्वारा नई शिक्षा नीति के विरोध में शिक्षक दिवस पर हरियाणा शारीरिक शिक्षक संघ एवं हरियाणा विद्यालय अध्यापक संघ ने लघु सचिवालय के बाहर सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। इस दौरान प्रदर्शन करते हुए और शिक्षा मंत्री का पुतला भी फूंका और सरकार को चेतावनी दी कि अगर सरकार ने उनकी मांगे नहीं मानी तो वे सभी संगठनों के साथ मिलकर आंदोलन तेज करेंगे। 



हरियाणा विद्यालय शिक्षक संघ के जिला प्रधान साधु राम ने बताया कि सरकार ने जो नई शिक्षा नीति लागू की है, वह नीति निजीकरण के समर्थन में लागू की है, जिसका वे जोरदार विरोध करते हैं। उन्होंने कहा कि सरकार ने हिसार में लिखित परीक्षा जिसमें पेपर लीक हो गया था उसे रद्द नहीं किया जिसके विरोध में कर्मचारी संगठनों ने 2 दिन पहले पंचकूला में ज्ञापन देने की घोषणा की थी मगर सरकार के किसी भी प्रतिनिधि ने उनका ज्ञापन नहीं लिया। जिसके चलते उन्होंने पूरे हरियाणा के जिला मुख्यालय पर प्रदर्शन करने के साथ साथ शिक्षा मंत्री का पुतला फूंकने का ऐलान किया था। 



वहीं गुरुग्राम में राजीव चौक पर सुप्रीम कोर्ट के आदेशों के बाद बर्खास्त किए गए पीटीआई टीचरों ने शिक्षक दिवस को काले दिवस के तौर पर मनाया। जिन्होंने गुरुग्राम के राजीव चौक पर पहुंचकर शिक्षा मंत्री कंवर पाल गुर्जर का पुतला फूंका और साथ ही साथ हरियाणा सरकार के नाम पर मुर्दाबाद के नारे लगाए।

चरखी दादरी में पीटीआई अध्यापक पिछले 83 दिन से धरना व प्रदर्शन कर रहे हैं। अध्यापक नौकरी करने के बाद हटा दिए गए हैं। इसी को लेकर पीटीआई अध्यापक अपनी सेवा बहाली को लेकर पिछले काफी दिनों से धरना प्रदर्शन कर रहे हैं। आज शिक्षक दिवस पर पीटीआई अध्यापक विरोध दिवस के रुप में मनाया। 



पीटीआई अध्यापकों ने नई शिक्षा नीति का भी विरोध किया और उनका कहना है कि सरकार नई शिक्षा नीति लाकर अपमान कर रही है। उन्होंने कहा कि सरकार हमारी सेवा को जल्द बहाल करें अन्यथा हम कुछ भी कर गुजरने के लिए तैयार हैं। उन्होंने कहा कि हमारी सेवा किसी तरह बहाल की जाए ताकि हम अपने बाल बच्चे पाल सके हमारे सामने रोजी-रोटी का संकट आ खड़ा हुआ है जो इस सरकार की देन है। 

Shivam