ये कैसे हुआ? पंचकूला में डेरा ब्यास की जमीन पर लगे पेड़ गायब, NGT ने मांगा जवाब

punjabkesari.in Thursday, Oct 23, 2025 - 10:11 AM (IST)

पंचकूला: पंचकूला के बीर घग्गर स्थित राधा स्वामी सत्संग ब्यास डेरा में लगे देशी प्रजाति के हजारों पेड़ों की कटाई कर दी गई है। इसका खुलासा राष्ट्रीय हरित अधिकरण (एनजीटी) की ओर से गठित कमेटी की रिपोर्ट में हुआ है।

एनजीटी ने अब इस मामले में पर्यावरण मंत्रालय, हरियाणा सरकार के वन विभाग, डेरा ब्यास और शिकायतकर्ता से जवाब मांगा है। वहीं, शिकायतकर्ता गौरव शर्मा ने आरोप लगाया है कि जब से उसने शिकायत की है उसे लगातार धमकियां दी जा रही हैं। इस पर एनजीटी ने संबंधित अथॉरिटी को निर्देश दिए कि ट्रिब्यूनल में शिकायत देने के कारण आवेदक को परेशान न किया जाए। हालांकि इन धमकियों के बाद गौरव को हरियाणा पुलिस से सुरक्षा मिल गई है। अब इस मामले की अगली सुनवाई 19 जनवरी को होगी।

साल 1998 में पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय ने ब्यास डेरा को पंचकूला के बीर घग्गर में 40 एकड़ जमीन हस्तांतरित की थी। जब यह जमीन हस्तांतरित की गई थी तो तब इस भूमि पर देशी प्रजातियों के 4,322 पेड़ और 1,128 पौधे लगे थे। इनमें खैर के 2,106 पेड़, सागौन के 136, शीशम के 721, यूकेलिप्टस की 199 और कीकर के 723 पेड़ थे। भूमि हस्तांतरण के समय मंत्रालय ने शर्त रखी थी कि यहां सिर्फ पौधरोपण किया जाएगा। कोई निर्माण नहीं होगा।

शिकायतकर्ता का आरोप है कि इस भूमि पर लगे पेड़ों की कटाई कर दी गई है और भूमि पर अवैध निर्माण भी किया गया है। शिकायत पर एनजीटी ने भूमि के निरीक्षण व जांच के लिए सेवानिवृत्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश बीएम बेदी की अध्यक्षता में समिति गठित की।इस समिति में पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय के वन उप महानिदेशक सत्य प्रकाश नेगी और अंबाला के उत्तरी सर्किल के वन संरक्षक जितेंद्र अहलावत सदस्य थे।


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Content Writer

Isha

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