नाबालिग छात्रों के साथ कुकर्म, गुरुकुल के गेट पर पीड़ित परिजनों ने किया हंगामा

8/27/2018 9:48:44 AM

रोहतक(दीपक भारद्वाज): गुरुग्राम में छात्रों के साथ यौनाचार के मामले में अभिभावकों का गुस्सा भड़क गया है। पीड़ित बच्चों के परिजनों ने गुरुकुल गेट पर पहुंच कर जमकर हंगामा किया। इस दौरान परिजनों ने गुरुकुल के खिलाफ जमकर भड़ास निकाली। उन्होंने कहा कि शिक्षा के मंदिर में भी इस तरह की गंदी हरकते हो रही है। वहीं पीड़ित बच्चों से CWC के चेयर मेन काउंसिलिंग करवा रहे हैं। 

जानकारी के अनुसार सदर थाना क्षेत्र के लाढ़ौत के गुरुकुल के छात्रों द्वारा नाबालिग छात्रों से एक साल से अप्राकृतिक यौनाचार करने का मामला सामने आया था। त्यौहार पर बच्चों से मिलने आए परिजनों को छात्रों ने अपनी आब बीती बताई। जिसके बाद परिजनों ने मामले की सूचना पुलिस को दी। पुलिस ने केस दर्ज कर कार्रवाई शुरु कर दी है। 

त्यौहार के दिन हुअा खुलासा
प्राप्त जानकारी के अनुसार बच्चों ने पुलिस के समक्ष बताया कि जब वह सो जाते थे तो रात 1-2 बजे के आसपास बड़ी कक्षाओं के छात्र उन्हें जबरदस्ती उठा कर ले जाते थे और फिर छत पर और बाथरूम में उनसे जबरदस्ती गलत काम किए गए। उन्हें धमकी दी जाती थी कि अगर किसी को बताया कि उनकी हत्या कर दी जाएगी और लाश ही बाहर जाएगी। बच्चों ने वार्डन और गुरुकुल के अन्य पदाधिकारियों पर आरोप लगाया कि गुरुकुल में जो कुछ हो रहा है सभी को उसकी जानकारी है लेकिन इस बात की शिकायत करने पर उन्हें बार-बार धमकाया जाता ओर डंडों से भी पीटा जाता था। 

जब उनसे बर्दाश्त नहीं हुआ तो उन्होंने परिजनों को बता दिया। बाल कल्याण समिति के चेयरमैन डा. राजसिंह सांगवान ने कहा कि एक्सपर्ट से बच्चों की काउंसिलिंग करवाई जाएगी ताकि मामले की हकीकत सामने आ सके। इसके अलावा बच्चों का केस फ्री लडऩे के लिए वकील देंगे। अब जिले के सभी गुरुकुल व बोर्डिंग स्कूल की विजिट की जाएगी। भैयापुर(लाढ़ौत) गुरुकुल के संचालक आचार्य हरिदत्त ने कहा कि गुरुकुल में इस तरह का माहौल नहीं है। मामले में गुरुकुल को बदनाम करने की साजिश हो सकती है। मामले की निष्पक्ष जांच करवाएंगे, बच्चों का मैडीकल होगा। 
गुरुकुल प्रबंधन ने नकारे अारोप
इस मामले में गुरुकुल के आचार्य हरि दत्त का बयान सामने अाया है। उनका कहना है कि गुरुकुल में एेसा कुछ नहीं हुअा है। ये केवल अापस में लड़ाई- झगड़े का मामला है। 
आचार्य का दावा है कि मेडिकल रिपोर्ट अाने के बाद दूध- का दूध और पानी का पानी हो जाएगा। जिसके बाद शिकायत देने वाले अभिभावक खुद ऐफिडेविट देकर कहेंगे कि उनके बच्चों के साथ एेसा कुछ नहीं हुअा है।

 

 

Rakhi Yadav