HMT की बंद फैक्ट्री पर वरुण चौधरी ने संसद में किए थे सवाल, अब केंद्रीय मंत्री ने दिया जवाब
punjabkesari.in Thursday, Feb 13, 2025 - 08:03 PM (IST)
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चंडीगढ़ (चंद्र शेखर धरणी) : एचएमटी बचाओ संघर्ष समिति के संरक्षक एवं शिवालिक विकास मंच प्रदेश अध्यक्ष विजय बंसल एडवोकेट ने पिंजौर में बंद पड़ी एचएमटी ट्रैक्टर फैक्ट्री के मामले में बड़ा खुलासा करते हुए भाजपा सरकार पर जोरदार हमला करते हुए कहा कि एचएमटी ट्रैक्टर फैक्ट्री के बारे में बीजेपी ने चुनाव में मतदाताओं से झूठ बोलकर वोट बटोरे हैं क्योंकि केंद्र सरकार की गत अक्टूबर 2016 में केंद्रीय कैबिनेट के निर्णय के बाद बंद की गई एचएमटी ट्रैक्टर फैक्ट्री को फिलहाल भविष्य में चालू करने, लोगों को रोजगार देने या युवा कौशल विकास के लिए प्रयोग करने का फिलहाल कोई योजना नहीं है।
विजय बंसल ने बताया कि अंबाला के सांसद वरुण चौधरी द्वारा संसद के बजट सत्र में प्रश्न के उत्तर में खुद केंद्रीय भारी उद्योग राज्य मंत्री भूपति राजू श्रीनिवास वर्मा ने बताया कि भविष्य में एचएमटी की बंद फैक्ट्री को सार्वजनिक निजी भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए या इस ट्रैक्टर यूनिट को स्थानीय युवाओं के लिए कौशल विकास केंद्र में बदलने जैसे विकल्पों पर सरकार का कोई विचार नहीं है।
बता दें कि कांग्रेस नेता विजय बंसल ने अंबाला से कांग्रेस के सांसद वरुण चौधरी को एचएमटी की बंद फैक्ट्री के विषय में पार्लियामेंट में उठाने के लिए कुछ कुछ प्रश्न दिए थे जिन प्रश्नों को सांसद ने संसद के बजट सत्र में उठाया था उन्हीं प्रश्नों के उपरोक्त जवाब केंद्रीय मंत्री ने संसद में दिए थे। विजय बंसल ने भाजपा सरकार को आड़े हाथों लेते हुए कहा यदि सरकार की एचएमटी ट्रैक्टर यूनिट को भविष्य में चलाने की कोई योजना नहीं थी तो एचएमटी फैक्ट्री दोबारा चालू करने के झूठे सपने दिखाकर लोगों को क्यों गुमराह किया गया।
विजय बंसल ने कहा कि तत्कालीन कांग्रेस सरकार ने लोगों का रोजगार बरकरार रखने के उद्देश्य से वर्ष 2013 में एचएमटी फैक्ट्री को रिवाइवल के लिए 1084 करोड रुपए का आर्थिक पैकेज दिया था लेकिन उसके बाद बीजेपी ने सत्ता में आते ही फैक्ट्री बंद कर दी थी।
गौरतलब है कि केंद्रीय कैबिनेट इकोनामिक अफेयरस कमेटी (सीसीईए) ने गत 27 अक्टूबर 2016 को बैठक में एचएमटी ट्रैक्टर डिविजन को बंद करने का निर्णय लिया था। इसके बाद न केवल एचएमटी फैक्ट्री में कार्यरत हजारों कर्मचारियों को जबरन वीआरएस देकर उन्हें नौकरी से निकाल दिया था बल्कि उन पर निर्भर पिंजौर, कालका सहित पंचकूला के हजारों लोगों को भी बेरोजगारी के अंधे कुएं में धकेल दिया था। विजय बंसल ने कहा कि केंद्र और हरियाणा प्रदेश की भाजपा सरकारों ने पिंजौर, कालका क्षेत्र वासियों को पिछले 8 वर्षों से एचएमटी फैक्ट्री को पुन चालू करने के झूठे सपने दिखाकर उन्हें अंधेरे में रखा है।
विजय बंसल ने संसद में उठाने के लिए जिन प्रश्नों को सांसद को दिया था सांसद वरुण चौधरी ने उन्हें प्रश्नों को सांसद के सत्र में रखते हुए सरकार से प्रश्न पूछे थे क्या सरकार पिंजौर में एचएमटी ट्रैक्टर डिविजन के समक्ष आने वाली वित्तीय चुनौतियों से अवगत थी जिस कारण अंतत उन्हें फैक्ट्री को बंद करना पड़ा और कर्मचारियों के भुगतान में भी देरी हुई, यदि हां तो सरकार ने एचएमटी पिंजौर के बंद होने से पूर्व इसके वित्तीय परिचालन पुनर्गठन के लिए क्या कदम उठाए हैं, और क्या सरकार ने भविष्य में सार्वजनिक या निजी भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए एचएमटी ट्रैक्टर इकाई को स्थानीय युवाओं के लिए कौशल विकास जैसे केंद्र में बदलने के विकल्पों पर विचार किया है या नहीं।
एचएमटी ट्रैक्टर डिवीजन के पूर्व कर्मचारियों को उनका संवैधानिक बकाया, पैंशन बकाया और लंबित पड़ी सैलरी देने के लिए सरकार द्वारा क्या उपाय किए गए हैं और क्या सरकार ने फैक्ट्री बंद होने के बाद इसे प्रभावित होने वाले कर्मचारियों के लिए कोई वित्तीय सहायता या पुनर्वास योजना प्रस्तावित की थी यदि हां तो उसे लागू करने की समय सीमा क्या है इसका पूरा विवरण दिया जाए।
विजय बंसल ने बताया कि भाजपा सरकार ने एचएमटी ट्रैक्टर पिंजौर यूनिट के संचालन के लिए कुछ नहीं किया है क्योंकि खुद केंद्रीय भारी उद्योग राज्य मंत्री भूपति राजू श्रीनिवास वर्मा ने अपने जवाब में कांग्रेस सरकार द्वारा वर्ष 2013 में एचएमटी के पुनरुद्धार योजना के लिए मंजूर किए गए पैकेज का ही जिक्र करते हुए कहा कि वर्ष 2013 में ट्रैक्टर डिवीजन को फिर से सक्रिय करने के उपाय के रूप में कार्यशील पूंजी, प्रौद्योगिकी उन्नयन और मशीनरी को आधुनिकरण करने के लिए राशि जारी की थी। बंसल ने बताया कि इतना ही नहीं तत्कालीन कांग्रेस सरकार द्वारा एचएमटी कर्मचारियों के वेतन में की गई बढ़ोतरी का बखान करते हुए बताया कि बकाया वेतन सहित अन्य वैधानिक बकाया के भुगतान के लिए जारी किए गए सहायता बजट की मंजूरी में सभी कर्मचारियों को 2007 के आधार पर वेतन बढ़कर उन्हें लाभ दिया गया था और वर्ष 2016 में वीआरएस और वीएसएस योजना के तहत 718.72 करोड रुपए ब्याज मुक्त ऋण के रूप में प्रदान किए थे।
यही नहीं केंद्रीय मंत्री ने अपने जवाब में यह भी कहा कि कोर्ट में मामला होने के कारण कुछ कर्मचारियों के मामलों को छोड़कर शेष अन्य एचएमटी ट्रैक्टर डिवीजन के पूर्व कर्मचारियों का कोई वैधानिक बकाया या पेंशन का बकाया और कोई वेतन लंबित नहीं है। विजय बंसल ने कहा कि पिछले 8 वर्षों से भी अधिक समय से वीआरएस योजना दोबारा आरंभ करने या उन्हें एचएमटी की दूसरी यूनिट में एडजस्ट करने की मांग को लेकर आज भी 150 कर्मचारी सरकार के जवाब या किसी कार्यवाही की बाट जोह रहे हैं।
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