ये है वो जेल, जहां कैद था बापू का कातिल नाथूराम गोडसे

10/2/2018 5:10:05 PM

अंबाला (ब्यूरो):  गांधी जयंती पर जानिए उस जेल के बारे में, जहां गोली मारकर राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की हत्या करने वाले नाथूराम गोडसे को कैद करके रखा गया था। महात्मा गांधी की हत्या करने के बावजूद देश का एक वर्ग नाथूराम गोडसे को देशभक्त मानता है। भाजपा के सत्ता में आने के बाद हिन्दू महासभा ने गोडसे को एक देशभक्त के रूप में पेश किया और गोडसे की प्रतिमा भी स्थापित कर डाली। जानिए, फांसी की सजा मिलने के बाद गोडसे को किस जेल में रखा गया था। 



नाथू राम गोडसे को अंबाला के सेंट्रल जेल में रखा गया था। हाईवे के किनारे बनी यह सेंट्रल जेल ठीक वैसी ही थी, जैसे अंडमान निकोबार की जेल। कई जाने-माने स्वतंत्रता सेनानियों को इस जेल में रखा गया था। इसी जेल में 15 नवंबर 1949 को नाथूराम गोडसे को फांसी दी गई थी। एक अन्य षडयंत्रकारी नारायण आप्टे को भी उसके साथ ही फांसी दी गई। नाथूराम गोडसे का शव सरकार ने परिजनों को नहीं दिया था। जेल के अधिकारियों ने घग्घर नदी के किनारे उसका अंतिम संस्कार कर दिया था। जब शव को जेल के एक वाहन में रखकर घग्घर नदी ले जाया जा रहा था, तो उस वाहन के पीछे-पीछे चुपके से हिन्दू महासभा का एक कार्यकर्ता भी चला गया और चिता के ठंडी होने पर उसने एक डिब्बे में अस्थियां रख ली थीं। गोडसे की अस्थियां आज भी परिजनों के पास सुरक्षित रखी हैं।


बताते हैं कि जेल में नाथूराम गोडसे को काल कोठरी में रखा गया था। गोडसे ने जेल प्रशासन से रोजाना सुबह मंदिर में जाकर पूजा करने की मांग की थी, लेकिन गोडसे को रोजाना मंदिर जाने की अनुमति नहीं मिली थी। कहा जाता है कि कभी-कभी उसकी इच्छा का सम्मान करते हुए उसे सेंट्रल जेल के बिल्कुल नजदीक स्थित एक प्राचीन शिव मंदिर में जेल प्रशासन की तरफ से ले जाया जाता था। 



 

Deepak Paul