अंकिता के साथ परिणय सूत्र में बंधे मौसम खत्री, जानिए दोनों को मिलाने में किसने निभाई अहम भूमिका

6/12/2017 10:18:50 AM

झज्जर (प्रवीन धनखड़):पहलवान मौसम खत्री झज्जर की अंकिता के साथ परिणय सूत्र में बंध गए हैं। झज्जर का शहनाई गार्डन दोनों के नए जीवन की शुरूआत के सफर का गवाह बना। दोनों ने यहां सात फेरे लेकर जन्मों जन्म तक एक दूसरे का साथ निभाने की कसमें ली। बता दें कि मौसम खत्री लगातार 2 बार भारत केसरी का खिताब अपने नाम कर चुके है। इसके अलावा खत्री एशियन खेलों में भी कांस्य पदक हासिल कर चुके हैं।

झज्जर के खुड़न गांव की अंकिता एम.ए. फिजिक्स की पढ़ाई कर रही हैं। दोनों की फैमली शुरू से ही एक दूसरे से जुड़ी हुई हैं। अंकिता व मौसम दोनों के परिवार का कुश्ती से गहरा नाता रहा है। जहां मौसम कुश्ती को लेकर देश-विदेश में अपनी छाप छोड़ चुके हैं, तो वही अंकिता के पिता कप्तान सिंह व उनके ताऊ वजीर सिंह अपने समय में कुश्ती के बेहतर खिलाड़ी रह चुके हैं। 

दोनों को एक करने में अंकिता के ताऊ ने निभाई अहम भूमिका
मौसम व् अंकिता को एक करने में कुश्ती खेल का अहम योगदान रहा है। दरअसल अंकिता के पिता कप्तान सिंह उसे शुरू से ही पहलवान बनना चाहते थे, लेकिन कुछ परेशानियों के चलते ऐसा नहीं हो सका। कप्तान सिंह ने बताया कि वे खेल से जुड़े रहना चाहत थे। इसलिए उन्हें अपनी बेटी के लिए जीवन साथी के रूप् में एक खिलाड़ी की तलाश थी। जो मौसम के मिलने के बाद खत्म हुई।

वहीं अंकिता के ताऊ वजीर सिंह अपने समय में लगातर 3 बार इंटर यूनिवर्सिटी चैंपियन रहे हैं। वे मौसम को काफी लम्बे समय से जानते थे। उन्होंने दोनों को एक करने में काफी अहम भूमिका निभाई है। 

जानिए, शादी के बाद की अंकिता की ख्वाहिश
अंकिता का कहना है कि शादी के बाद भी अपने पति को देश के लिए खेलना पसंद करेंगी। अंकिता चाहती है कि शादी के बाद उनके पति ओलम्पिक में देश के लिए मैडल लेकर आएं। उन्होंने शादी के बाद भी अपनी पढ़ाई जारी रखने की बात कही है। 

उनके खेल पर शादी का कोई असर नहीं पड़ेगा:मौसम
मौसम अपनी शादी के अवसर पर बेहद खुश नजर आए। उनका कहना है कि उनकी नजरें अब 2018 में होने एशियन गेम्स के साथ कॉमनवेल्थ खेलों की ओर है। उनका कहना है कि शादी से उनके खेल पर कोई असर नहीं पड़ेगा। मौसम और अंकिता की शादी में कुश्ती जगत के बड़े खिलाड़ी और राजनेताओं ने शिरकत की।