थ्री लेयर पैरीमीटर फैंसिंग सिक्योरिटी से लैस होंगे देश के एयरबेस

8/18/2017 1:04:37 AM

जालंधर(रविंदर शर्मा): देश के सभी एयरबेस थ्री लेयर पैरीमीटर फैंसिंग सिक्योरिटी से लैस होंगे। यह फैसला सरकार ने 1 जून 2016 को पठानकोट एयरबेस पर आतंकी हमले के बाद लिया था। सरकार ने इसके लिए 2019 तक की डैडलाइन तय की थी, मगर अब केंद्र सरकार ने आतंकी हमलों की लगातार धमकियों के बीच इस डैडलाइन को एडवांस में ही निपटाने के आदेश दिए हैं। 

1 जून 2016 को पठानकोट एयरबेस पर हमला कर आतंकियों ने देश की आंतरिक सुरक्षा को जमकर चुनौती दी थी। इस हमले के बाद मोदी सरकार पर कई तरह की उंगलियां उठी थीं और हमले को सिक्योरिटी लैप्स बताया गया था। हमले के बाद केंद्र सरकार ने नेवी व एयरफोर्स को तुरंत प्रभाव से थ्री लेयर पैरीमीटर फैंसिंग सिक्योरिटी सिस्टम से लैस करने का प्रोपोजल पास किया था। इस सिक्योरिटी सिस्टम में आधुनिक साजो-सामान के साथ फाइटर व ट्रांसपोर्ट एयरक्राफ्ट लगाने का फैसला लिया गया था। 

कुछ दिन पहले ही डिफैंस मिनिस्ट्री के साथ मीटिंग के दौरान नेवी ने इस थ्री लेयर पैरीमीटर फैंसिंग सिक्योरिटी को लागू करने का समय 2019 तक दिया था। मगर डिफैंस मिनिस्ट्री ने नेवी व एयरफोर्स को यह काम 2019 से पहले ही निपटाने का आदेश दिया है, ताकि भविष्य में किसी भी संभावित आतंकी हमले से निपटा जा सके। इस प्रोजैक्ट के तहत एयरफोर्स व नेवी अपने 29 एयरबेस पर पैरीमीटर फैंसिंग सिक्योरिटी सिस्टम लागू करेगा। इसमें 26 इंडियन एयरफोर्स और 3 नेवी के हैं। इसके तहत इंडियन एयरफोर्स अगले महीने इस प्रोजैक्ट को लेकर टैंडर निकालने जा रहा है, ताकि इस काम को 2018 दिसम्बर तक निपटाया जा सके। बेस सिक्योरिटी प्रोजैक्ट को और मजबूती प्रदान करने के लिए डिफैंस मिनिस्ट्री अब आम्र्ड फोर्स को कुछ फाइनैंशियल पावर देने पर विचार कर रही है। 

डिफैंस मिनिस्ट्री के इस निर्णय के बाद अब तीनों आर्मी के चीफ को हर वर्ष तकरीबन 800 करोड़ रुपए संवेदनशील पैरीमीटर सिक्योरिटी एयरबेस पर खर्च करने का अधिकार होगा। पठानकोट एयरबेस पर हमले के बाद आर्मी ने 3000 के करीब संवेदनशील बेस व 600 के करीब अति संवेदनशील बेस की पहचान की थी। एयरफोर्स व नेवी के एयरबेस पर थ्री लेयर पैरीमीटर फैंसिंग सिक्योरिटी सिस्टम लागू करने के बाद आर्मी के इन बेस पर भी इस सिक्योरिटी सिस्टम को लागू करने की प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी। पठानकोट एयरबेस पर आतंकी हमले के बाद बैठी कमेटी के हैड रिटायर्ड लैफ्टिनैंट जनरल फिलीप कामपोज की ऑडिट रिपोर्ट के बाद इस सिक्योरिटी सिस्टम को लागू करने की तरफ सरकार ने कदम बढ़ाए थे।