बी-टेक थर्ड सेमेस्टर-2013 की बिना चैक किए पेपर सड़क पर मिले

11/25/2015 3:53:10 PM

रोहतक (दीपक भारद्वाज): रोहतक के महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय की बी-टेक थर्ड सेमेस्टर-2013 की मैथ्स की बिना जांच 61 उत्तरपुस्तिकाएं सड़क पर पड़ी मिली हैं। इन पर दर्ज रोल नंबर का परिणाम जारी हो चुका है। ये उत्तरपुस्तिकाएं रोहतक के मातूराम इंजीनियरिंग कॉलेज की हैं। उधर, एमडीयू प्रशासन ने इस मामले में आंतरिक जांच कराए जाने की बात कही है। इससे पहले फरवरी 2013 में एमडीयू में उत्तरपुस्तिका घोटाला हुआ था, जिसमें पैसे लेकर नंबर बढ़ाने का मामला सामने आया था। तब कई गिरफ्तारियां भी हुई थीं।

रोहतक के सोनीपत स्टैंड पर एक रेहड़ी वाले को कॉपियों के दो बंडल सड़क पर पड़े मिले मिले, जो उसने अपने पास रेहड़ी पर रख लिए। इसी दौरान एक महिला सहायक प्रोफेसर रेहड़ी पर फल खरीदने पहुंची। कापियों के बंडल देखकर उसके बारे में पूछा। महिला ने उन उत्तरपुस्तिकाओं को उससे ले लिया। एमडीयू के सत्र 2012-13 के थर्ड सेमेस्टर की इन कॉपियों पर सीरियल नंबर 1436665, 1438197, 1438819, 1440952, 1441024 है। सड़क पर उत्तर पुस्तिकाओं के बंडल मिलने की खबर के बाद एमडीयू प्रशासन में हड़कंप मच गया।

9 जनवरी 2013 को हुए इस पेपर की इन 61 उत्तरपुस्तिकाओं में करीब 10 खाली हैं। कुछ दिसंबर 2012 के री-अपीयर स्टूडेंट्स की भी हैं। इनविजीलेटर ने कुछ कॉपियों पर ब्लैंक भी लिखा है। इन सभी पुस्तिकाओं पर इनविजिलेटर के तो हस्ताक्षर हैं, लेकिन उत्तरपुस्तिका जांचने वाले एक्जामिनर का कोई जिक्र तक नहीं है। फरवरी 2013 में एमडीयू में 2191 उत्तरपुस्तिकाएं मिली थीं।

बी-टेक 2012 की इन कापियों की जांच के बाद पता चला था कि कई में 20 हजार रुपए लेकर अंक बढ़ाए गए थे। मातूराम इंजीनियरिंग कॉलेज के छात्रों और दो शिक्षकों को गिरफ्तार किया गया था। परीक्षा में शून्य और दोबारा जांच में 72 अंक बढ़ाने का मामला सामने आया था। इस मामले में 19 कर्मचारी निलंबित हुए थे।

मामले की होगी जांच
उधर, एमडीयू प्रशासन ने इस मामले में कड़ा संज्ञान लिया है। विश्वविद्यालय के किसी अधिकारी ने कैमरे के सामने तो कोई बयान नहीं दिया, लेकिन विश्वविद्यालय प्रशासन की ओर से कुलसचिव जितेंद्र भारद्वाज की ओर से एक प्रेस विज्ञप्ति जारी की गई है। जिसमें कहा गया है कि बीटेक-तीसरे सेमेस्टर 2013 की उत्तर पुस्तिकाओं का बंडल परिसर से बाहर मिलने के प्रकरण पर सख्त संज्ञान लिया गया है।

विश्वविद्यालय प्रशासन अपने स्तर पर इस मामले की आंतरिक जांच करवाएगा, तथा इसमें संलिप्त यदि कोई विश्वविद्यालय कर्मी पाया गया तो उसे बख्शा नहीं जाएगा। कुलसचिव की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि 2013 की उत्तर पुस्तिकाओं का मामला पुलिस प्रशासन की एसआईटी के पास पहले से जांच में है। अतः इस मामले की पुलिस प्रशासन से जांच कार्रवाई जाएगी। इस संबंध में महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय पुलिस प्रशासन का पूरा सहयोग देगा। महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय भ्रष्टाचार तथा परीक्षा संबंधित किसी भी अनियमितता के मामले में जीरो टोलरेंस की नीति अपनाते हुए कार्रवाई करेगा।