प्रदेश की सभी यूनिवर्सिटियों में एक जैसा होगा ‘सिस्टम’

2/19/2019 1:15:19 PM

सिरसा(भारद्वाज): प्रदेश की सभी यूनिवॢसटियों में आने वाले समय में विभागीय सिस्टम एक जैसा होगा। चाहे मसला नई नियुक्ति को अथवा प्रमोशन वगैरह का, प्लान बराबर का ही होगा। यह निर्णय सोमवार को चंडीगढ़ में हुई प्रदेश के 7 रजिस्ट्रारों की अहम बैठक में लिया गया। बैठक की अध्यक्षता उच्च एवं तकनीकी शिक्षा के निदेशक ने की थी। इस फैसले का फायदा अन्य यूनिवॢसटी के साथ साथ चौ. देवीलाल वि.वि. को भी होगा क्योंकि एक समान एक सिस्टम के तहत इस वि.वि. में भी यही नियम जल्द ही लागू हो जाएगा। 

गौरतलब है कि शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार लाने के साथ विभागीय प्रणाली में भी सुधार लाने की दिशा में मौजूदा प्रदेश सरकार एवं शिक्षा मंत्रालय प्रयासरत है। सरकारी स्कूलों के साथ-साथ हायर एजुकेशनल सिस्टम व वि.वि. स्तर तक के शिक्षण संस्थान में नए-नए प्रयोग किए जा रहे हंै ताकि प्रदेश में शिक्षा का स्तर पहले से कहीं और अधिक बेहतर हो सके। इसी कड़ी में सोमवार को हायर एजुकेशन एवं तकनीकी शिक्षा के निदेशक के कार्यालय में एक अहम बैठक हुई और इस बैठक में प्रदेश के 7 वि.वि. के रजिस्ट्रारों ने विशेष रूप से शिरकत की। 

इसलिए लिया निर्णय
दरअसल, बैठक में सभी रजिस्ट्रारों की ओर से अपने अपने वि.वि. के वर्किंग सिस्टम के बारे में जानकारी दी गई। इसके बाद मंथन हुआ तो तथ्य यह उभर कर सामने आया कि हर वि.वि. में नियुक्तियों व प्रमोशनों को लेकर कोई एक नीति नहीं अपितु हरेक ने अपने-अपने हिसाब से फार्मेट बनाया हुआ है। इस तथ्य को समझने के बाद निर्णय लिया गया कि जब वि.वि. का फार्मेट एक है तो फिर नियुक्तियों एवं प्रमोशनों के मामले में राय जुदा क्यों हैं? इस पर एक्शन प्लान बनाते हुए कहा गया है कि भविष्य में नियुक्तियों एवं प्रमोशन का तरीका भी एक समान होगा।

ये थी वजह
वि.वि. के प्रशासनिक सूत्रों के अनुसार हर वि.वि. का सिस्टम नई नियुक्तियों एवं प्रमोशनों से इसलिए भिन्न पाया गया कि एक वि.वि. ने अपने क्लर्क को महज 3 साल बाद प्रमोट कर दिया तो दूसरे ने कोई 5 साल तो कोई इससे ज्यादा अवधि के बाद भी प्रमोट नहीं कर पाया। यह कोई एकाध वि.वि. की स्थिति नहीं थी अपितु बैठक में उपस्थित सातों रजिस्ट्रारों ने जब ब्यौरा प्रस्तुत किया तो हर वि.वि. की एक अपनी ही अलग पॉलिसी दिखी, जोकि वि.वि. के फार्मेट में कहीं न कहीं अलग थी। इसीलिए इस दिशा में अब एक समान नीति तैयार की गई है। 
 

Deepak Paul