जिले के सभी अस्पताल बीमार बच्चों से फुल

1/23/2019 10:37:34 AM

यमुनानगर(सतीश): सर्दी का सीधा असर छोटे बच्चों और बुजुर्गों पर पड़ रहा है। पूरी तरह से स्वस्थ महिला एवं पुरुष भी कम परेशान नहीं हैं। जिस तरह से सर्दी बढ़ती जा रही है, उससे बच्चे ज्यादा प्रभावित हैं। वे खांसी, जुकाम, बुखार व सांस न लिए जाने से परेशान हैं। यही वजह है कि जिले के सभी अस्पताल बीमार बच्चों से फुल हैं। किसी अस्पताल में एक भी बैड खाली नहीं है। सभी अस्पतालों की बात करें तो हर रोज 2 हजार से ज्यादा बच्चे ओ.पी.डी. में पहुंच रहे हैं। शिशु रोग विशेषज्ञ परिजनों को खास एहतियात बरतने की सलाह दे रहे हैं। 

तुरंत आ जाते हैं सर्दी की चपेट में 

डॉक्टरों के मुताबिक सर्दी के मौसम में बच्चों के शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता सामान्य दिनों से कम हो जाती है। यही हाल बुजुर्गों का भी रहता है। किसी भी प्रकार के मौसम परिवर्तन का असर तुरंत बच्चे व बुजुर्गों पर पड़ता है। बच्चों को ठंड से ज्यादा गर्म या गर्म से तुरंत ठंडे में ले जाने से ऐसी दिक्कत होती है। कुछ लोग कमरे में हीटर चलाकर रखते हैं। इससे अंदर का तापमान तो सामान्य हो जाता है लेकिन जब वे कमरे बाहर आते हैं तो तुरंत सर्दी की चपेट में आ जाते हैं। 

रहता है एलर्जी और अस्थमा का असर

ठंड में बच्चे विभिन्न बैक्टीरिया के साथ वायरस की चपेट में भी आ जाते हैं। इससे बच्चे को दस्त, उल्टी और बुखार एक साथ होता है। बच्चे के शरीर में पानी की मात्रा कम हो जाती है, जिससे बुखार के कारण वह सुस्त और चिड़चिड़ा होने लगते हैं। वहीं, एलर्जी और अस्थमा का असर इस मौसम में बढ़ जाता है। बच्चों को सांस संबंधी परेशानी भी होती है। बंद नाक और गले में जकडऩ के साथ नाक और आंख से पानी गिरने लगता है। 

तेज हवा और प्रदूषण से सांस लेने में परेशानी होती है। ठंड के मौसम में बच्चों को होने वाली सबसे आम समस्या निमोनिया है। इसमें बच्चे को बुखार के साथ सांस तेज हो जाती है, सिर बहुत गर्म रहता है।
बड़ों व बुजुर्गों में ठंड के मौसम में बैक्टीरिया व वायरस अटैक करता है। सर्दी के कारण अब तक जिला में तीन लोगों की मौत भी हो चुकी है। बुजुर्गों में सर्दी, खांसी, बुखार बदन दर्द की शिकायत हो रही है। इसके साथ आंखें शुष्क होने के कारण चिपकने लगती हैं। 

ठंड में त्वचा में रैशेज और दाने की समस्या अक्सर छोटे बच्चों में देखने को मिलती है लेकिन बड़े भी इसकी चपेट में आ रहे है। इसका कारण एलर्जी और हार्मोन में बदलाव के साथ ठंडी हवा भी है। हृदय रोग, बी.पी., सांस व अस्थमा के मरीज के लिए ठंड काफी खतरनाक होता है।

 

Deepak Paul