चिंतन शिविर के अंतिम दिन विधायकों को न्यौता, कापड़ीवास व अग्रवाल ने बनाई दूरी

12/18/2017 3:46:03 PM

चंडीगढ़(चंद्रशेखर धरणी):टिम्बर ट्रेल चिंतन शिविर के अंतिम दिन विधायकों को लंच का न्योता था, उम्मीद के अनुसार विधायकों की संख्या कम रही। 13 से 15 विधायक व मुख्यमंत्री सहित सभी मंत्री मौजूद थे। असंतुष्ट विधायक रणधीर कापड़ीवास, उमेश अग्रवाल सहित निर्दलीय विधायकों की अनुपस्थिति चर्चा का विषय बनी रही। खट्टर सरकार के टिम्बर ट्रेल चिंतन शिविर से भाजपा के विधायकों को मायूसी हाथ लगी है। हाजिरी के तौर पर विधायकों को आखिरी दिन रविवार को बुलाया जरूर गया लेकिन वह सिर्फ लंच करके ही वापस लौट आए। आखिरी दिन के समापन सत्र में विधायकों को मुख्यमंत्री और राज्यपाल के भाषण से कुछ ज्ञान जरूर मिला लेकिन अंदर ही अंदर उनमें चिंतन शिविर के पूरे 3 दिनों में नहीं बुलाने का मलाल दिखाई दिया। 

कुछ विधायकों ने दबी जुबान से यह भी कहा कि ऐसे मौकों पर सरकार को विधायकों को भी शामिल करना चाहिए था। हालांकि भाजपा का कोई विधायक खुलकर इस मामले में नहीं बोल सका। चिंतन शिविर के तय शैड्यूल के तहत पार्टी व सभी निर्दलीय विधायकों को आखिरी दिन बुलाया गया था। रविवार की जब विधायक टिम्बर ट्रेल की पहाड़ी पर पहुंचे तो वह महज कुछ घंटे की गुजार पाए। कई विधायकों ने कहा कि ऐसे शिविर में विधायकों को साथ रखना चाहिए था, ताकि अफसरों के साथ विधायकों की भी नजदीकी हो सके। कुछ विधायकों ने कहा कि किसी काम को लेकर सबसे ज्यादा दिक्कत विधायकों को ही झेलनी पड़ती है।

अधिकतर विधायकों ने पहली बार देखा टिम्बर ट्रेल होटल
रविवार को चिंतन शिविर में पहुंचे भाजपा के विधायकों में से अधिकांश ने पहली बार टिम्बर ट्रेल होटल देखा। बातचीत में कई विधायकों ने कहा कि उन्होंने बाहर से इसे देखा था लेकिन यहां पहली बार आए हैं। विधायकों ने कहा कि यदि इस होटल में उन्हें ठहरने का मौका मिलता तो बात कुछ और होती।