सकारात्मक सोच उत्पन्न करने का माध्यम बना प्रदेश सरकार का प्रचार विभाग: गेजेन्द्र फोगाट

punjabkesari.in Sunday, Nov 20, 2022 - 03:57 PM (IST)

चंडीगढ़ (धरणी) : अंतरराष्ट्रीय स्तर पर एक महत्वपूर्ण आयोजन के रूप में ख्याति प्राप्त कर चुकी हरियाणा की गीता जयंती के सफल आयोजन में महत्वपूर्ण जिम्मेदारी हरियाणा सरकार के प्रचार विभाग की भी रही। इस कार्यक्रम समेत कई महत्वपूर्ण विषयों पर हरियाणा सरकार के प्रचार विभाग के ओएसडी गजेंद्र फोगाट ने बताया कि उनका काम मात्र सूचनाएं भेजने तक ही सीमित नहीं, जिस प्रकार से हजारों साल पहले हमारे राजा-महाराजा प्रचार के माध्यम से जनता में सकारात्मक सोच पैदा किया करते थे, इसी प्रकार से समाज में एक उत्तम बात सकारात्मक तरीके से पहुंचाना हमारा  कर्तव्य है। पड़ोसी राज्य पंजाब की तरह नशा हमारे प्रदेश में जड़े ना जमा जाए इसे लेकर मुख्यमंत्री लगातार प्रयासरत हैं और उनके दिशा निर्देश पर हमने युवाओं से नशे का इस्तेमाल ना करें, शराब छोड़ने के बारे ना कहकर युवाओं में प्रचार के माध्यम से जागृति पैदा करने के लगातार प्रयास किए। पंजाब में फैले नशे को दर्शाने के लिए फिल्म "उड़ता पंजाब" बनी।

हरियाणा में हालांकि नशा बहुत कम है, मुख्यमंत्री के लगातार प्रयासों से यह संभव हो पाया। मुख्यमंत्री ने "राहगीरी" शुरू की। नशे को समाप्त करने के लिए तमाम वरिष्ठ अधिकारियों से लगातार बैठकों का दौर चलता रहता है। ओलंपिक में सिलेक्ट होने मात्र से खिलाड़ी को 5 लाख रुपए एडवांस, ओलंपिक में हिस्सा लेने पर चाहे मेडल ना भी आए तो भी 15 लाखों रुपए की प्रोत्साहन राशि, की नीति बनाई ताकि खेल को बढ़ावा देने के साथ-साथ खेल के प्रति आदत डल सके। यह मेंटालिटी सेट हो सके कि खेल से नुकसान नहीं बल्कि शारीरिक-सामाजिक-मानसिक के साथ-साथ आर्थिक लाभ भी होगा। इससे केवल खिलाड़ी ही नहीं तैयार होंगे बल्कि प्रदेश के युवा नशे से दूर रहेंगे। गांव-गाव में योगा टीचर का प्रारूप तैयार किया। योगा यूनिवर्सिटी बनाने की तैयारी हुई है। योग आयोग बनाया गया। इस तरह से हम मुख्यमंत्री के दिशा निर्देश अनुसार तमाम नीतियों-योजनाओं और प्रदेश सरकार की सोच को प्रचार के माध्यम से जनता तक सकारात्मक रूप में पहुंचाने का काम करते हैं। फोगाट ने कहा कि फूल तोड़ते बच्चे को रोकने की बजाय उसके हाथ में अगर पौधों को पानी देने के लिए पाइप पकड़ा दिया जाए तो वह फूल नहीं तोड़ेगा। हमारे प्रदेश के युवाओं की ऊर्जा यूरेनियम की तरह है। उससे चाहे बिजली बनाएं या बम। प्रदेश के मुख्यमंत्री युवाओं की ऊर्जा से लगातार बिजली बनाने का काम कर रहे हैं बम बनाने का नहीं।

प्रदेश में जोर-शोर से मनाए जाने वाले धार्मिक आयोजन गीता जयंती में स्वम् देश की राष्ट्रपति द्रौपदी मुरमू शिरकत करने वाली हैं। इसलिए कार्यक्रम को लेकर प्रचार विभाग का दायित्व का बढ़ना तय है। इस पर बोलते हुए फौगाट ने बताया कि 8 साल पहले भी मात्र औपचारिकता के रूप में गीता जयंती मनाई जाती थी, लेकिन मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने इस कार्यक्रम को ग्लोबली मनाते हुए अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान दी। मुख्यमंत्री के प्रयासों से मां गीता का प्रचार आज 100 से अधिक भाषाओं में हो रहा है। इस कार्यक्रम का संदेश लगभग सभी महत्वपूर्ण देशों फ्रांस- अमेरिका- जर्मनी तक में हो रहा है। फ्रांस के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक ने खुद कहा कि वह गीता पड़ते हैं। बराक ओबामा ने कहा कि मैं गीता पढ़ता हूं और प्रदेश के मुख्यमंत्री मनोहर लाल स्वयं अपनी जेब में गीता की छोटी सी प्रतिलिपि रखते हैं। बेसिकली गीता टेंशन को कम करने वाली ऊर्जा उत्पन्न करती है।

दुनिया में सबसे बड़ी बीमारी डिप्रेशन -अवसाद है। कैंसर का तो आज इलाज मौजूद है लेकिन अवसाद का इलाज नहीं। एक सर्वेक्षण के अनुसार दुनिया की कुल आबादी में से 20 फ़ीसदी लोग डिप्रेशन के शिकार है। हम प्रचार के माध्यम से लोगों में ऊर्जा उत्पन्न करने की एक सफल कोशिश करते हैं। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया में प्रचार की बाढ़ बेशक आई है। लेकिन कुछ दुष्प्रचार के कारण समाज में नेगेटिविटी भी आना चिंताजनक विषय है। हमारी सरकार का हमेशा प्रयास है रोजगार उत्पन्न करने की बात समेत बहुत से माध्यमों से हम समाज में अच्छा संदेश देते हैं। मुख्यमंत्री द्वारा रोजाना सुबह 6 से रात 12 बजे तक युद्ध स्तर पर की जाने वाली मीटिंग और दिए जाने वाले दिशानिर्देश समाज ही नहीं हमारे लिए भी बेहद उत्साहवर्धक हैं। इन्हीं बातों को हम सोशल मीडिया के माध्यम से जनता तक पहुंचाते हैं और गलत संदेश देने वालो के बराबर में अपनी लंबी लाइन खींचते हैं।


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Content Writer

Manisha rana

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