गरीबों के नाम पर खरीदे फ्लैट, जांच में सामने आया बड़ा घोटाला, 6 नायब तहसीलदारों पर FIR दर्ज

punjabkesari.in Friday, Aug 07, 2020 - 10:06 PM (IST)

गुरुग्राम (मोहित): हाल ही में गुरुग्राम में कोरोना काल के दौरान अवैध रजिस्ट्री करने का मामला सामने आया, जिसमें कई अधिकारियों पर गाज गिरी थी। अब रेवन्यू विभाग में हुए घोटाले के बाद एक नया घोटाला उजागर हुआ है, गुरुग्रम के सेक्टर-29 थाने में 6 नायब तहसीलदारों और 6 अन्य लोगों पर केस दर्ज हुआ है, इन 12 लोगों पर अवैध तरीके से ईडब्ल्यूएस फ्लैट्स की रजिस्ट्री की, मामले की जांच सीएम फ्लाइंग को सौंपी की गई थी, जब जांच में सभी आरोप साबित हो गए, तो उसी रिपोर्ट को आधार बनाकर केस दर्ज किया गया।

तत्कालीन नायब तहसीलदारों ने नियमों को ताक पर रखकर ईडब्ल्यूएस फ्लैटस की अवैध रूप से रजिस्ट्री कर दी थी, जबकि इस तरह के फ्लैट अलॉट होने के बाद 5 साल तक कोई भी फ्लैट्स नहीं बेच सकता है। इस संबंध में सीएम फ्लाइंग स्कॉयड की जांच में करीब 4 कंपनियों के रिकॉर्ड खंगालें गए, जिसमें ये निकलकर आया कि करीब 75 प्रतिशत फ्लैट अलॉटमेंट होने के बाद तुंरत बेच दिए गए हैं, जिसके बाद सीएम फ्लाइंग ने 8 महीने में अपनी जांच करने के बाद गुरूग्राम पुलिस को इस बारे में रिपोर्ट दी है।

सीएम फ्लाइंग स्कॉयड की तरफ से चार बिल्डर्स से ईडब्ल्यूएस फ्लैट्स का रिकॉर्ड मांगा था। जिसमें बैस्टैक, तुलीप, सनसिटी और एस्सल बिल्डर के रिकॉर्ड को खंगाला गया। जिसमें वजीराबाद और गुरूग्राम की तहसील शामिल है। जहां ये रजिस्ट्री की गई। गुरूग्राम में करीब 75 ऐसे बिल्डर है जिनके ईडब्ल्यूएस फ्लैट के खरीद फिरोख्त के बारे में शिकायत मिली थी।

इस पूरे मामले में जांच जब कि गई तो 75 प्रतिशत लोगों ने फ्लैट मिलने के कुछ दिनों बाद ही सभी ने अपने फ्लैट बेच दिए। मतलब ये लोग गरीबों के नाम पर फ्लैट लेकर उसे अपने फायदे के लिए बेच देते थे, अब देखना होगा कि इस मामले में पुलिस क्या कार्रवाई करती है।


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Shivam

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