Panipat: बड़बोलेपन में फंसे बागेश्वर धाम के बाबा, आग-बूबला हुए किसान...माफी मांगने को 72 घंटे का अल्टीमेटम

2/5/2024 3:57:33 PM

पानीपत(सचिन शर्मा): फेमस कथा वाचक धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री उर्फ बागेश्वर धाम बाबा अक्सर अपने बयानों को लेकर चर्चा में रहने वाले रविवार को पानीपत पहुंचे थे। इस दौरान उनके द्वारा दिए एक बयान पर किसानों में रोष है। आने वाले समय में किसान बागेश्वर बाबा की मुश्किलें बढ़ा सकते हैं। ऐसा इसलिए क्योंकि किसानों ने धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री को 72 घंटे का अल्टीमेटम दिया है। किसान भवन में किसानों द्वारा एक बैठक की गई, जिसमें फैसला लिया गया कि धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री मांफी मांगे नहीं तो हम बड़ा एक्शन ले सकते हैं।   

'धीरेंद्र शास्त्री का भाजपा कर रही इस्तेमाल'

दरअसल बीते रोज आयोजित कार्यक्रम में धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने पानीपत के लोगों को पानीपत के पागल कहा था। धीरेंद्र शास्त्री के इस बयान से किसान भड़क गए हैं और उन्होंने एक प्रेस वार्ता बुलाकर धीरेंद्र शास्त्री से 72 घंटे के अंदर माफी मांगने की मांग की है। किसानों ने कहा है या तो धीरेंद्र शास्त्री माफी मांग लें नहीं तो 72 घंटे के बाद उनके खिलाफ थाने में शिकायत दी जाएगी। वह कोर्ट का दरवाजा भी खटखटएंगे। इतना ही नहीं किसानों ने बागेश्वर धाम सरकार धीरेंद्र शास्त्री को ढोंगी बाबा भी करार दिया है। किसानों ने कहा कि बागेश्वर धाम सरकार धीरेंद्र शास्त्री का बीजेपी सरकार इस्तेमाल कर रही है।

'किसानों के साथ फसल बीमा योजना में फ्राड'

वहीं किसानों ने प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना में किसानों के साथ फ्रॉड करने के आरोप लगाए हैं। भारतीय किसान यूनियन चढ़ूनी ग्रुप के प्रदेश उपाध्यक्ष सत्यवान नरवाल ने कहा है कि इस विषय में गोहाना में 29 जनवरी से धरना चल रहा है।  मंगलवार को इस धरने पर हरियाणा प्रदेश के किसानों के बड़े-बड़े नेता पहुंचेंगे। भारतीय किसान यूनियन के प्रदेश उपाध्यक्ष सत्यवान नरवाल ने मंगलवार को हरियाणा के किसानों को भारी संख्या में पहुंचने का आह्वान किया है।

उन्होंने कहा कि जहां किसानों की फसल खराब हुई, वहां सात आठ महीने का इंतजार करने के बाद बीमा कंपनियों द्वारा किसानों का बीमा ही कैंसिल कर दिया गया और उनका प्रीमियम वापस कर दिया। जहां फैसलें खराब नहीं हुई वहां पर इन बीमा कंपनियों ने किसानों का प्रीमियम भी लूट लिया। राज्य और केंद्र सरकार की सब्सिडी भी लूट ली।  जब उन्होंने इस बारें मे एग्रीकल्चर डायरेक्टर के सलाहकार से बात की तो उन्होंने भी बीमा कंपनियां का बचाव किया। क्योंकि वह बीमा कंपनियों की सेवा कर रहा है उनसे पैसे ऐंठ रहा है।

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Content Editor

Saurabh Pal