BJP सांसद के बिगड़े बोल- पहलगाम में महिलाओं में वीरांगना जैसा जोश नहीं था, अगर वो भिड़तीं जानें बच जाती

punjabkesari.in Saturday, May 24, 2025 - 05:21 PM (IST)

भिवानी (अशोक): राज्यसभा सांसद रामचंद्र जांगड़ा ने कहा कि माननीय हाईकोर्ट द्वारा सामाजिक व आर्थिक मापदंडों के आधार पर की गई भर्तियों में अतिरिक्त अंक दिए जाने को असंवैधानिक माने जाने के बाद किसी भी कर्मचारी को हटाया नहीं जाएगा। नौकरियों पर लगे हुए कर्मचारियों को किसी भी रूप में रखा जाएगा तथा उनके रोजगार को समाप्त नहीं होने दिया जाएगा। यह बात उन्होंने भिवानी के पंचायत भवन में अहिल्याबाई होल्कर की जयंती कार्यक्रम के बाद पत्रकारों से बातचीत करते हुए कही।  


इस मौके पर राज्यसभा सांसद रामचंद्र जांगड़ा ने कहा कि देवी अहिल्याबाई होल्कर महिला सशक्तिकरण का बड़ा उदाहरण रही है। वे कम आयु में विधवा हुई। बावजूद इसके उन्होंने महिलाओं के उत्थान के लिए कार्य किया। उन्होंने अपने कार्यकाल में दबे-कुचले लोगों के लिए कार्य किया। काशी विश्वनाथ मंदिर व सोमनाथ मंदिर का जीर्णोद्धार उन्होंने अपने कार्यकाल में किया। किसी भी परिस्थिति में घबराए बगैर संघर्ष करने की सीख देवी अहिल्याबाई के जीवन आदर्शो से मिलती है। 


उन्होंने कहा कि पहलगाम हमले के समय भी महिला पर्यटकों को देवी अहिल्याबाई की तर्ज पर संघर्ष करती तो इस आतंकवादी घटना में ना केवल आतंकवादी मारे जाते, बल्कि भारतीय नागरिकों के जीवन की क्षति भी कम होती। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस आतंकवादी के बाद पाकिस्तान को करारा जवाब देने का काम किया तथा आतंकवाद की ट्रेनिंग देने वाले ठिकानों के साथ ही बड़ी संख्या में आतंकी व उनके आकाओं को मार गिराया गया।



उन्होंने कांग्रेस के राहुल गांधी का आज का श्रीनगर दौरे पर पूछे गए सवाल के जवाब में कहा कि राहुल गांधी को कोई भी गंभीरता से नहीं लेता। क्योंकि राहुल गांधी विदेशों में जाकर भारत की प्रतिष्ठा के खिलाफ बात करते है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी को भी भाजपा की तर्ज पर देश के सैनिकों को मनोबल बढ़ाने के लिए तिरंगा यात्राएं निकालनी चाहिए। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी के प्रतिनिधि शशी थरूर को एक प्रतिनिधिमंडल का मुखिया बनाकर भारत सरकार ने विदेशों में आतंकवाद के खिलाफ भारत का पक्ष रखने के लिए भेजा है।


राज्यसभा सांसद ने कांग्रेस विधायक अशोक अरोड़ा के साथ पार्षद प्रतिनिधयों द्वारा किए गए असम्मानजनक व्यवहार को लेकर इसे अशोभनीय बताया तथा कहा कि ऐसा व्यवहार पार्षद प्रतिनिधि को नहीं करना चाहिए था। सभी सरकारी मीटिंगों में जनप्रतिनिधियों को अपने पत्नी के प्रतिनिधि के तौर पर ना आकर खुद उपस्थित होना चाहिए। वही उन्होंने दीपेंद्र हुड्डा द्वारा उपायुक्त को प्रोटोकॉल मामले में धमकाए जाने को लेकर कहा कि यह दीपेंद्र हुड्डा की बौखलाहट है। अधिकारियों के प्रति ऐसा व्यवहार उन्हे नहीं करना चाहिए।  


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Content Writer

Isha

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