हरियाणा सरकार ने अब यूनिवर्सिटीज को ग्रांट के बजाए लोन देने का किया फैसला, छात्रों पर बढ़ेगा बोझ
punjabkesari.in Monday, May 09, 2022 - 12:04 PM (IST)
डेस्क : हरियाणा के सभी विश्वविद्यालयों को सरकार ने इस बार ग्रांट के बजाए लोन देने का फैसला किया है। वहीं इस मामले ने तूल पकड़ लिया है, क्योंकि प्रदेश की यूनिवर्सिटीज का खर्चा उनकी इनकम से कई ज्यादा है। ऐसे में लोन चुकाने के लिए फीस बढ़ानी पड़ेगी जिससे इसका सीधा असर स्टेडेंट्स पर पड़ेगा। वहीं, विश्वविद्यालयों के रिसर्च सहित अन्य प्रोजेक्ट प्रभावित होंगे।
वहीं अब विश्वविद्यालय के पदाधिकारियों ने इस फैसले कड़ा विरोध किया। रविवार को रोहतक स्थित एमडीयू में हरियाणा सभी विवि के शिक्षक एवं गैरशिक्षक प्रतिनिधियों ने बैठक की। बैठक में मौजूद प्रतिनिधियों ने कहा कि इससे उच्च शिक्षा खतरे में आ जाएगी और शोध प्रभावित होगा। वित्तीय रूप से बच्चे उच्च शिक्षा से वंचित रह जाएंगे। क्योंकि फीस बढ़ाने के अलावा कोई रास्ता नहीं बचेगा।
प्रतिनिधियों ने कहा कि शिक्षा और स्वास्थ सरकार की मूलभूत जिम्मेदारी है, लेकिन हरियाणा सरकार इससे बचना चाहती है। विश्वविद्यालयों को निजी हाथों में सौंपना चाहती है। उन्होंने कहा कि शिक्षक व गैर शिक्षक 11 मई को धरना देंगे और कुलपति के माध्यम से कुलाधिपति, मुख्यमंत्री, शिक्षा मंत्री, चेयरमैन यूजीसी, चेयरमैन एआईसीटीई, शिक्षा मंत्रालय भारत सरकार को ज्ञापन भेजा जाएगा। इसमें मांग की जाएगी कि इस आदेश को एक हफ्ते में वापस लिया जाए।
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