नूंह हिंसा को लेकर तीन समाजों की महापंचायत में गरजे नेता, अशांति फैलाने वालों को दी चेतावनी

punjabkesari.in Thursday, Aug 10, 2023 - 01:43 PM (IST)

हिसार: हरियाणा के हिसार जिले के बास गांव में बुधवार को एक 'महापंचायत' का आयोजन किया गया, जिसमें विभिन्न धर्मों, किसान संगठनों और खापों के लोगों ने समुदायों के बीच जुड़ाव को मजबूत करने की बात कही। नूंह में सांप्रदायिक झड़पों के कुछ दिन बाद यह पहल की गई। उल्लेखनीय है कि 31 जुलाई को विश्व हिंदू परिषद (विहिप) की ब्रज मंडल यात्रा पर एक भीड़ द्वारा हमला किए जाने के बाद मुस्लिम बहुल नूंह में हुईं झड़पों में दो होम गार्ड और एक इमाम समेत छह लोगों की मौत हो गई। गुरुग्राम में भी हिंसा की छिटपुट घटनाएं देखी गईं। भारतीय किसान मजदूर यूनियन के बैनर तले आयोजित इस महापंचायत में बड़ी संख्या में हिंदू, मुस्लिम और सिख समुदाय के लोगों ने हिस्सा लिया। 

महापंचायत में सदस्यों ने शांति और सद्भाव बनाए रखने का संकल्प लिया और उन लोगों को चेतावनी दी जो मुस्लिम समुदाय के लिए उत्तेजक नारे और भाषा का उपयोग करके राज्य में अशांति पैदा करने की कोशिश कर रहे हैं। एसकेएम सदस्य सुरेश कोथ के नेतृत्व में किसान संघ द्वारा आयोजित कार्यक्रम में हिसार, जींद, कैथल, करनाल, भिवानी, फतेहाबाद और कुछ अन्य जिलों के लोगों ने हिस्सा लिया।

 बैठक में पेश किये गये एक प्रस्ताव में कहा गया कि हिंदू, मुस्लिम और सिख समेत विभिन्न धर्मों के लोग मेवात क्षेत्र में शांति बहाल करने के लिए काम करेंगे। प्रस्ताव के अनुसार, "सरकार से मामले की निष्पक्ष जांच करने और दोषियों को गिरफ्तार करने को कहा गया है। समाज में दंगे भड़काने के लिए सोशल मीडिया पर भड़काऊ भाषण और वीडियो पोस्ट करने वालों के खिलाफ तत्काल कार्रवाई की जाए और उन्हें गिरफ्तार किया जाए।" महापंचायत के आयोजकों में शामिल और संयुक्त किसान मोर्चा के सदस्य सुरेश कोथ ने जोर देकर कहा कि हरियाणा की धरती का इस्तेमाल लोगों को जाति और धर्म के आधार पर विभाजित करने के लिए नहीं करने दिया जाएगा।

वारदातें करवाकर चुनाव जीतना चाहती BJP
किसान नेता मंदीप नथवान ने कहा कि बीजेपी अंग्रेजों वाली फूट डालो राज करो की नीति अपनाकर राज करती है। लोगों को विकास के मुद्दे से हटाकर नूंह जैसी वारदातें करवाकर चुनाव जीतना चाहती है। हिसार में किसानों का बीमा क्लेम के लिए धरना चल रहा है। कॉमरेड इंद्रजीत ने कहा कि हमारा आंदोलन लूट और फूट के खिलाफ है। आपसी फूट से ऊपर उठकर यह आंदोलन लड़ना पड़ेगा। हमें सांप्रदायिकता और फूट के खिलाफ लड़ाई लड़नी है। 31 जुलाई को भी सरकार ने नूंह में फूट डालने की कोशिश की थी, लेकिन हरियाणा के लोगों ने सरकार के मंसूबे को फेल कर दिया।


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Content Writer

Isha

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