राहुल गांधी की ट्रक यात्रा केवल ध्यान आकर्षित करने का एक स्टंट: कंवरपाल गुर्जर

punjabkesari.in Wednesday, May 24, 2023 - 05:46 PM (IST)

चंडीगढ़ (धरणी) : राहुल गांधी की ट्रक यात्रा को लेकर प्रदेश के शिक्षा- वन और पर्यटन मंत्री कंवर पाल गुर्जर ने चुटकी लेते हुए कहा कि यह यात्रा भी मजाक का विषय अवश्य बनेगी। क्योंकि राहुल गांधी बिना विजन वाले नेता है। जब तक किसी नेता की बात जनता को समझ में नहीं आती, उनके कार्यक्रमों- पदयात्राओं का कोई लाभ नहीं होता। उन्होंने राहुल गांधी पर कटाक्ष करते हुए कहा कि राहुल गांधी तो पांडवों ने जीएसटी नहीं लगाई, पांडवों ने नोटबंदी नहीं की इस प्रकार की बेफिजूल बातें करने वाले नेता है। उन्होंने मुख्यमंत्री के जनसंवाद कार्यक्रम समेत प्रदेश के राजनीतिक घटनाक्रमों तथा भाजपा जजपा गठबंधन को लेकर भी विस्तार से चर्चा की। जिसके कुछ अंश आपके सामने प्रस्तुत है:-

प्रश्न : राहुल गांधी ने देशभर में भारत जोड़ो यात्रा के नाम पर पदयात्रा की, अब दिल्ली से अंबाला तक ट्रक में यात्रा कर रहे हैं, क्या कहेंगे ?
उत्तर : 
यह केवल ध्यान आकर्षित करने के लिए एक स्टंट है। जबकि नेता की वैचारिक सोच जनता के सामने आनी चाहिए, जिससे उन्हें पता चल सके कि नेता के पास क्या है, जिससे उसे वोट दिया जाए। लंबी यात्रा के बावजूद वह पिछली बार जनता के सामने विजन तक नहीं रख पाए। इसलिए मैं नहीं समझता कि रथयात्रा का कोई लाभ कांग्रेस पार्टी को होगा। हां लेकिन यह यात्रा मजाक का विषय अवश्य बनेगी।

प्रश्न : वैसे इस यात्रा में राहुल गांधी मुंह से कम बोल रहे हैं, प्रैक्टिकल वर्किंग ज्यादा कर रहे हैं ?
उत्तर : 
ट्रक पर उतरने -चढ़ने को क्या आप वर्किंग मान रहे हैं। वर्किंग वह है कि नेता गया, उसकी बात सुनने के बाद लोगों ने माना कि बातों में दम है। यह नेता गंभीर बात कर रहा है। लेकिन राहुल गांधी ऐसी बातें करते हैं कि पांडवों ने जीएसटी नहीं लगाई। पांडवों ने नोटबंदी नहीं की थी। इस प्रकार की बेफजूल बातों से केवल वह हंसी के पात्र बनते हैं और मैं समझता हूं कि पदयात्रा से ट्रक यात्रा ज्यादा उनके लिए अच्छी रहेगी, क्योंकि इसमें ज्यादा बोलना नहीं पड़ेगा और ज्यादा मजाक भी नहीं बनेगा।

प्रश्न : हिमाचल प्रदेश और कर्नाटक जीत के बाद कांग्रेसी कार्यकर्ता काफी उत्साहित हैं ?
उत्तर : 
देखिए पार्टी कोई भी जीते, उससे उत्साह तो आता ही है। हम भी जीतते हैं तो उत्साहा हममें भी आता है, यह एक स्वाभाविक बात है। भारतीय जनता पार्टी का भी प्रदर्शन वहां अच्छा रहा। हिमाचल प्रदेश में 1 फ़ीसदी से भी कम अंतर से हम चुनाव हारे हैं। कर्नाटक में भी हमने पिछली बार जितने वोट लिए। वहां सभी विपक्षी दल एक जगह इकट्ठे होने से चुनाव परिणामों में अवश्य फर्क पड़ा है।

प्रश्न : विपक्ष नोट बंदी को लेकर काफी मुखर है, 2000 का नोट चलाया गया, अब बंद किया गया, टिप्पणियां कर रहा है ?
उत्तर : 
पहले यह लोग नोटबंदी की आलोचना करते रहे, नोटबंदी से क्या लाभ हुआ क्या नुकसान हुआ। लेकिन आज पाकिस्तान की जो खराब स्थिति है, वह नोट बंदी के कारण है। वहां नकली नोट छापने का पूरा उद्योग लग चुका था। कश्मीर में पत्थरबाजी भी नकली नोटों के कारोबार के कारण चल रही थी। आज 2000 के नोट बंद करने की जो बात कह रहे हैं, हमने नोट बंद नहीं किए, 2000 के 20 नोट बैंक में ले जाकर कोई भी बदल सकता है। जिसके पास वाइट मनी कितनी भी है, वह बैंक में जाकर जमा करवा सकता है। जिसके पास ब्लैक मनी है उस पर इसका बुरा असर पड़ेगा।

प्रश्न : भाजपा जजपा गठबंधन में दरार को लेकर स्थिति स्पष्ट करें ?
उत्तर : 
हममें कोई दरार नहीं है। मीडिया इस प्रकार के प्रश्न बार-बार करता है, लेकिन आज तक एक भी बयान मुख्यमंत्री या भाजपा प्रदेश अध्यक्ष की तरफ से नहीं आया। दूसरी तरफ डॉक्टर अजय सिंह चौटाला और दुष्यंत चौटाला की तरफ से भी कोई गलत बयान नहीं आया। कई बार लोगों ने इस प्रकार की बात अवश्य की होगी। लेकिन दोनों दलों के शीर्ष नेतृत्व की तरफ से कोई बयान इस प्रकार का नहीं आया है और ना ही आपको प्रैक्टिकल कुछ नजर आएगा कि दोनों दलों में दरार है।

प्रश्न : मुख्यमंत्री के बयान के बाद जजपा प्रदेशाध्यक्ष निशांत सिंह द्वारा भाजपा की मंशा को लेकर सवाल खड़े किए गए थे ?
उत्तर : 
मैंने उनका कोई ऐसा बयान देखा या सुना नहीं है।

प्रश्न : नए साल में शिक्षा विभाग में क्या क्या नया करने जा रहे हैं ?
उत्तर : 
हमने प्रदेश में 116 संस्कृति मॉडर्न स्कूल खोलें। इस बार 276 ओर खोलेंगे। मुख्यमंत्री ने 500 ऐसे स्कूल खोलने की बात कही थी, उसमें पीएम श्री के भी शामिल थे। हम जल्द इसकी शुरुआत करने वाले हैं। जिससे लोगों को काफी लाभ मिलेगा। पीएम श्री के इस बार 276 स्कूल खोलने की हमारी योजना है।

प्रश्न : पर्यटन विभाग में सुधारों को लेकर पीपीपी मॉडल पर क्या अपडेट है ?
उत्तर : 
प्रोजेक्ट अप्रूवल मिलने के बाद हम उस दिशा में कार्य शुरू करेंगे।

प्रश्न : सबसे पहले कौन-कौन से स्थान इसमें लिए जाएंगे?
उत्तर : 
हमने राई को लीज पर या पीपी पर लेने की योजना बनाई है। दिल्ली के नजदीक होने के कारण यह जमीन काफी बेहतर है और यहां अच्छा स्कोप मिलेगा। इसलिए इस पर विचार किया गया है। अगर प्रयोग सफल रहा तो आगे भी और फैसले लेंगे।

प्रश्न : जनसंवाद कार्यक्रम को लेकर उदयभान ने कहा है कि यह फिक्सिंग कार्यक्रम रहता है ?
उत्तर : 
फिक्सिंग करने का कार्य कांग्रेस का है। हम कोई फिक्सिंग नहीं करते। मुख्यमंत्री जहां जाते हैं जनता के साथ सीधी बात करते हैं। लेकिन इस कार्यक्रम के बाद कांग्रेस में हलचल मच चुकी है। कांग्रेस को पूरी गलतफहमी थी कि अगली सरकार उनकी बनेगी। ऐसा वह सोचे बैठे थे। लेकिन मुख्यमंत्री द्वारा जन संवाद कार्यक्रम शुरू किया गया। लोगों से सीधी बातचीत हो रही है। बड़ी संख्या में लोग शामिल हो रहे हैं। उससे कांग्रेस को खतरा हो गया है, इसलिए इस प्रकार की बयान बाजी कर रहे हैं। कुछ लोगों को प्रायोजित तरीके से यह लोग घुसा भी रहे हैं ताकि कार्यक्रम को डिस्टर्ब किया जा सके। लेकिन आज जनता पूरी तरह से सहमत है कि बिना भेदभाव के काम कर रहे हैं।

प्रश्न : जनसंवाद कार्यक्रम से क्या असर प्रदेश भर में रहेगा ?
उत्तर : 
यह एक जबरदस्त शुरुआत है। बहुत शानदार इसके परिणाम रहेंगे और जल्द ही पार्टी नेतृत्व प्रदेशभर के मंत्रियों- सीनियर नेताओं- पूर्व प्रदेश अध्यक्ष इत्यादि की ड्यूटियां सुनिश्चित करेंगे कि जो हर जिले में जाकर जनता के साथ संवाद करेंगे।

प्रश्न : क्या मानते हैं जनता सरकार से कितना संतुष्ट है ?
उत्तर : 
जिस निष्पक्षता के साथ हमने काम किए हैं। नौकरियां देने में कोई हेराफेरी -कोई बेईमानी नहीं की गई। आज हरियाणा का हर व्यक्ति मानता है कि नौकरी योग्यता के आधार पर मिलेगी। जो बच्चा पड़ेगा उसे रोजगार मिलेगा। सिफारिश या पैसा काम नहीं आएगा। आज बिना किसी भेदभाव के प्रदेश भर में विकास किया गया। ऐसा नहीं हुआ कि केवल करनाल में विकास हुआ हो और रोहतक में ना किया गया हो। प्रदेश भर में एक समान एक दृष्टि से कार्य किए गए। हमारी ऐसी पहली सरकार है जिसने सीधा पैसा पंचायतों को दिया। यह नहीं देखा कि विधायक कौन है या सरपंच किस पार्टी से है। केवल जनसंख्या देखी गई। उसी हिसाब से पैसा दिया गया। इसलिए हर आदमी मानता है कि हरियाणा एक हरियाणवी एक की दृष्टि से सरकार चल रही है।

प्रश्न : जनसंवाद कार्यक्रम क्या माना जाए मिशन 2024 की तैयारी है ?
उत्तर : 
जिस दिन चुनाव कंप्लीट होते हैं वैसे उसी दिन से हम लोग तैयारी शुरू कर देते हैं। लेकिन चुनाव नजदीक आते ही गतिविधियां हर पार्टी की तेज होना स्वाभाविक है। मुख्यमंत्री द्वारा जन संवाद कार्यक्रम इसलिए शुरू किया गया ताकि सरकार ने क्या-क्या कार्य किए, जनता को इसकी पूरी जानकारी हो सके। मुख्यमंत्री खुद जाकर पूछते हैं कि हमारा कौन सा कार्य आपको कितना अच्छा लगा। आप कौन से काम से अधिक संतुष्ट हैं। मुख्यमंत्री और जनता के बीच सीधी बात होना देशभर में एक पहला उदाहरण है। लोग इसे बहुत पसंद कर रहे हैं। इस कार्यक्रम को काफी लोकप्रियता मिल रही है। छोटे से कार्यक्रम में भारी संख्या में लोगों का पहुंचना इसका उदाहरण है।

प्रश्न : लेकिन इस कार्यक्रम को लेकर विपक्ष काफी सवाल खड़े कर रहा है ? 
उत्तर : इससे विपक्ष को काफी दिक्कत इसलिए हो रही है क्योंकि वहां होने वाली भीड़ और जनता की संतुष्टि इनके लिए खतरे की घंटी है। इसलिए विपक्ष इस कार्यक्रम को देख कर घबराया  हुआ है। आने वाले समय में जब हमारे मंत्री और वरिष्ठ नेता जनता के बीच में उनके दुख दर्द को समझने जानने और समाधान करने पहुंचेंगे तो प्रदेश का माहौल- हवा पूरी तरह से एक दिशा में बहेगी।

प्रश्न : कार्यक्रम का नाम यही रहेगा ?
 उत्तर : बिल्कुल कार्यक्रम का नाम जनसंवाद ही रहेगा। उसमें पार्टी के वरिष्ठ पदाधिकारी भी लोगों के बीच पहुंचेंगे।

प्रश्न : कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष उदय भान ने प्रधानमंत्री से नोट बंदी को लेकर माफी मांगने की बात कही, आप क्या कहेंगे ?
उत्तर : 
देश हित में काम करने वाला व्यक्ति आखिर माफी क्यों मांगे, इस सवाल का जवाब विपक्ष को देना चाहिए।

प्रश्न : उदय भान ने कहा कि नोट बंदी के कारण काफी लोगों की मौत हुई ?
उत्तर : 
कहीं कोई मौत नहीं हुई। किसी को इससे समस्या नहीं हुई। यह अपने आपको हिंदुस्तान में मेहमान समझते हैं। यह सोचते हैं कि उनकी सेवा करते रहो। अगर देश ने कोई निर्णय लिया और मुझे थोड़ा बहुत कष्ट हो भी रहा है तो यह मेरी जिम्मेदारी बनती है कि कष्ट उठाऊं। अगर मैं यहां सुख भोग रहा हूं तो देश के लिए परेशानी उठाना भी मेरा फर्ज है। अगर देश के फायदे के लिए थोड़ी बहुत देर मैं लाइन में लग भी जाता हूं तो इससे क्या दिक्कत है।

प्रश्न : लाइनों में तो केवल गरीब ही खड़ा रहा ऐसा विपक्ष कहता है ?
उत्तर : 
गरीब के पास तो नोट नहीं थे जो उसे बदलने पड़े। आज भी 2000 के कितने नोट किसी गरीब के पास होंगे। लोगों को कोई परेशानी नहीं थी। आज भी सबसे बड़ी परेशानी कांग्रेस को है। जो अभी तक नोटबंदी भूल नहीं पाई। यह कभी जीएसटी की आलोचना करते हैं। कभी जीएसटी बारे व्यापारी से जाकर पूछो जीएसटी अच्छी है या बुरी। व्यापारी यही कहेगा कि 10 साल पहले यह लागू कर देनी चाहिए थी।

प्रश्न : दीपेंद्र हुड्डा द्वारा संकल्प पत्र जारी किया गया क्या कहेंगे ?
उत्तर : 
पूरा हरियाणा जानता है कांग्रेस के संकल्प का कोई अर्थ नहीं है। जो संकल्प लेते हैं उससे उलट काम करते हैं। प्रदेश में 24 घंटे बिजली देने का संकल्प लेकर आए, 10 साल राज रहा, लेकिन 8 घंटे से ज्यादा बिजली नहीं दे पाए। इनके समय में महंगाई कंट्रोल नहीं होती। 1947 से आज तक का इतिहास देखो, जब-जब इनकी सरकार रही, ब्लैक में बढ़ोतरी हुई, महंगाई एकदम से आसमान में गई। भाजपा की सरकार जब जब रही, महंगाई पर हमने कंट्रोल किया। आज भी महंगाई पर कंट्रोल केवल भाजपा की सोच के कारण सफल हो रही है। दुनिया के 100 देश हिंदुस्तान से पूछ रहे हैं कि कोरोना के बावजूद अर्थव्यवस्था को कैसे ठीक रख पा रहे हो। हथियारों का बड़ा निर्यात करने वाला आज का भारत किसी समय हथियार खरीदने के लिए मारे मारे फिरता था, अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मोदी के नेतृत्व में देश के प्रति श्रद्धा बड़ी है।

 


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Content Writer

Manisha rana

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