बेसहारों का सहारा बनी अटल किसान-मजदूर कैंटीन

punjabkesari.in Monday, Apr 06, 2020 - 11:03 AM (IST)

भिवानी : कोविड-19 के चलते लागू किए गए लॉकडाऊन के दौरान नई अनाजमंडी में चल रही अटल किसान-मजदूर कैंटीन बेसहारा जरूरतमंद लोगों का सहारा बनी है। यहां पर अब तक करीब अढ़ाई हजार जरूरतमंद लोग नि:शुल्क खाना खा चुके हैं। राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन से स्वयं सहायता समूह की महिलाओं द्वारा यहां पर भोजन तैयार किया जा रहा है। उपायुक्त अजय कुमार ने लॉकडाऊन के दौरान नि:शुल्क भोजन खिलाने के निर्देश दिए हुए हैं। 

उल्लेखनीय है कि प्रदेश सरकार द्वारा नई अनाज मंडी में अटल किसान-मजदूर कैंटीन संचालित है। यहां पर किसान-मजदूरों को मात्र 10 रुपए की खाना उपलब्ध करवाया जाता है। स्वयं सहायता समूह की महिलाओं द्वारा यहां पर भोजन तैयार किया जाता है, जिससे उनका गुजर-बसर आसानी से चल सके लेकिन कोरोना वायरस संक्रमण की रोकथाम के चलते प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा पूरे देश में लॉकडाऊन लागू किया गया है, जिससे लोगों को अपने घरों में रहने के निर्देश दिए हैं।

हालांकि जिला प्रशासन द्वारा बेसहारा जरूरतमंद लोगों को रहने के लिए जिलेभर में शैल्टर होम स्थापित किए गए हैं तथा यहीं पर उनके भोजन की व्यवस्था की गई है। इस बीच नई अनाज मंडी में चल रही अटल किसान-मजदूर कैंटीन जरूरतमंद लोगों का मुख्य सहारा बनी है। यहां पर लॉकडाऊन होने के बाद करीब अढ़ाई हजार लोग भोजन कर चुके हैं। स्वयं सहायता समूहों की महिलाओं द्वारा भोजन तैयार किया जाता है। यहां पर खाना बनाने वाली अंजू, गीता व बिमला ने बताया कि जरूरतमंदों को भोजन करवाना उनके लिए सुकून भरा होता है।

फिलहाल किसी से भी कोई चार्ज नहीं लिया जा रहा। बिल्कुल फ्री भोजन उपलब्ध करवाया जाता है। राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन से शरीफ ने बताया कि विभिन्न समूहों की महिलाओं द्वारा लोहानी व भिवानी कैंटीन में खाना तैयार किया जा रहा है। लोहानी में भी स्वयं सहायता समूह की महिलाओं द्वारा खाना तैयार कर उपलब्ध करवाया जा रहा है। स्वयं सहायता समूह की सभी महिलाओं को स्वच्छता व सामाजिक दूरी बनाए रखने के निर्देश दिए गए हैंं।

उन्होंने बताया कि कैंटीन में आने वाले लोगों को भी सामाजिक दूरी बनाए रखने के साथ ही भोजन उपलब्ध करवा जा रहा है। इस बारे में उपायुक्त अजय कुमार ने बताया कि जरूरतमंदों को भोजन करवाना एक पुण्य का कार्य भी है। स्वयं सहायता समूह की महिलाओं द्वारा अच्छा कार्य किया जा रहा है। लॉकडाऊन की अवधि के दौरान यहां पर भोजन करने वाले से कोई चार्ज नहीं वसूला जा रहा है।


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Isha

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