हथिनी कुंड से छोड़ा गया 3 लाख क्यूसेक पानी, प्रदेश के कई जिलों पर मंडराया बाढ़ का खतरा

punjabkesari.in Monday, Sep 26, 2022 - 11:59 AM (IST)

यमुनानगर(सुमित): पहाड़ी क्षेत्रों में  लगातार हो रही  बरसात  के चलते मैदानी इलाकों में भी मुसीबतें बढ़ती जा रही हैं। बेमौसम बरसात से यमुना नदी का जलस्तर भी बढ़ गया है  और यमुना की लहरें उफान पर हैं। हथिनी कुंड बैराज से 2 लाख 96 हजार क्यूसेक पानी छोड़ा गया है, जिसके चलते यमुना की लहरें उफान पर हैं। नदी में जलस्तर बढ़ने से प्रशासन द्वारा हाई अलर्ट जारी कर निचले इलाकें के लोगों को सतर्क रहने और यमुना के पास न जाने की हिदायत दी गई है। प्रदेश के कई जिलों में निचले इलाकों में बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है। यमुनानगर जिला प्रशासन ने बाढ़ की आशंका को लेकर हाई अलर्ट जारी किया है। फिलहाल आला अधिकारी हर स्थिति पर पल-पल नजर बनाए हुए हैं।

 

PunjabKesari

 

सितंबर माह में पहली बार हथिनी कुंड से छोड़ा गया पानी

 

यमुना में जलस्तर को बढ़ता देखकर सिंचाई विभाग के अधिकारियों ने हरियाणा के साथ-साथ दिल्ली को भी इसकी सूचना भिजवा दी है। दरअसल कई वर्षों बाद ऐसा हुआ है, जब सितंबर माह में यमुना उफान पर आई है। इससे पहले सितंबर महीने में हथिनी कुंड बैराज से इतना पानी डिस्चार्ज करने की नौबत नहीं आई। बताया जा रहा है कि यमुना के पानी के चलते निचले इलाकों में परेशानी बढ़ सकती है। प्रशासन द्वारा भी लगातार ऐसे इलाकों में रहने वाले लोगों  को सुरक्षित स्थानों पर जाने की सहाद दी जा रही है। 

 

PunjabKesari

 

यमुना की लहरें उफान पर, यमुनानगर समेत कई जिलों में अलर्ट

 

सिंचाई विभाग के सुपरिटेंडेंट इंजीनियर आरएस मित्तल ने बताया कि पहाड़ी इलाकों में हो रही बरसात के बाद यमुना का जल स्तर लगातार बढ़ रहा है। रविवार रात 10 बजे के बाद से जल स्तर बढ़ना शुरू हो गया था,  जिसके बाद छोटी नहरो को बंद कर हथिनी कुंड बैराज के सभी गेट खोल दिए गए हैं। सोमवार सुबह भी 2 लाख 96 हजार  क्यूसेक पानी डिस्चार्ज हुआ है। उन्होंने बताया कि पानी का स्तर 70 हजार क्यूसेक पानी से अधिक होने पर बैराज के गेट खोले जाते हैं, जिसे मिनी फ्लड कहा जाता है। उसके बाद हरियाणा की विभिन्न नहरों का पानी बंद कर दिया जाता है। तब सारा पानी यमुना नदी में छोड़ा जाता है। अधिकारियों का कहना है कि किसी भी स्थिति से निपटने के लिए प्रशासन पूरी तरह तैयार है। उन्होंने कहा कि निचले इलाकों में सूचनाएं भिजवाई जा रही हैं। मित्तल ने बताया कि बाढ़ का पानी करनाल, पानीपत, सोनीपत, फरीदाबाद एवं उत्तर प्रदेश के कई इलाकों में भी बाढ़ का खतरा पैदा कर सकता है।

 

(हरियाणा की खबरें टेलीग्राम पर भी, बस यहां क्लिक करें या फिर टेलीग्राम पर Punjab Kesari Haryana सर्च करें।)


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Content Writer

Gourav Chouhan

Recommended News

Related News

static