जुलाई महीने के साथ एस.वाई.एल. का गहरा नाता

punjabkesari.in Tuesday, Jul 16, 2019 - 09:09 AM (IST)

जींद (जसमेर): हरियाणा की लाइफ लाइन कही जाने वाली एस.वाई.एल. नहर के साथ जुलाई महीने का बहुत गहरा नाता रहा है। इस नहर को लेकर कई बेहद अहम घटनाक्रम जुलाई महीने में हुए हैं। जुलाई महीने के साथ एस.वाई.एल. के नाते का यह सिलसिला 1985 में शुरू हुआ था और 2019 तक बराबर जारी है। एस.वाई.एल. नहर से हरियाणा को पंजाब से उसके हिस्से का नहरी पानी मिलना है। पंजाब से अलग होकर 1966 में अस्तित्व में आए हरियाणा राज्य को पंजाब से अभी तक उसके हिस्से का पूरा नहरी पानी नहीं मिला है।

हरियाणा, पंजाब और राजस्थान के बीच हुए जल समझौते में हरियाणा को 3.782 एम.ए.एफ. पानी मिलना तय हुआ था। इस पानी को पंजाब में एस.वाई.एल. नहर की खुदाई कर हरियाणा में लाया जाना था। एस.वाई.एल. नहर का निर्माण पंजाब की सीमा में अभी तक नहीं हुआ है। हरियाणा के किसानों की लाइफ लाइन कही जाने वाली एस.वाई.एल. नहर के साथ जुलाई महीने का बहुत गहरा नाता है। पंजाब में जब एस.वाई.एल. नहर की खुदाई का काम शुरू हुआ था तब जुलाई, 1990 में इस नहर के चीफ इंजीनियर की आतंकवादियों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी।

इससे पहले 24 जुलाई, 1985 को तत्कालीन प्रधानमंत्री राजीव गांधी और पंजाब के बड़े नेता संत हरचंद सिंह लौंगोवाल के बीच ऐतिहासिक जल समझौता हुआ था। इस समझौते के मुताबिक 15 अगस्त, 1986 तक पंजाब क्षेत्र में एस.वाई.एल. नहर का निर्माण पूरा होना था। जुलाई, 1990 में एस.वाई.एल. प्रोजैक्ट के चीफ इंजीनियर की आतंकवादियों द्वारा गोली मारकर हत्या कर दिए जाने के बाद पंजाब की सीमा में एस.वाई.एल. नहर की खुदाई का काम बंद कर दिया गया था। उस समय तक पंजाब में एस.वाई.एल. नहर की खुदाई का 90 प्रतिशत काम पूरा हो चुका था।

12 जुलाई, 2004 को पंजाब विधानसभा ने सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित कर एस.वाई.एल. नहर को लेकर अतीत में हुए जल समझौतों को रद्द कर दिया था। जुलाई, 1995 में पंजाब सरकार ने साफ कर दिया था कि वह एस.वाई.एल. नहर का निर्माण नहीं करवाएगी। जुलाई महीने के साथ एस.वाई.एल. का 1985 से शुरू हुआ नाता 2019 तक जारी: जुलाई महीने के साथ एस.वाई.एल. नहर का 1985 में शुरू हुआ नाता 2019 तक बराबर जारी है।

9 जुलाई, 2019 को एस.वाई.एल. नहर को लेकर सुप्रीम कोर्ट में पंजाब और हरियाणा के बीच चल रही कानूनी लड़ाई में सुप्रीम कोर्ट ने हरियाणा, पंजाब और केंद्र सरकार को ये निर्देश दिए हैं कि ये तीनों मिलकर सुप्रीम कोर्ट के उन आदेशों को लागू करें जिनमें हरियाणा को उसके हिस्से का नहरी पानी दिलवाने के लिए एस.वाई.एल. नहर के निर्माण की बात कही गई है। इस लिहाज से जुलाई महीने के साथ एस.वाई.एल. नहर के नाते का सिलसिला 1985 से शुरू होकर 2019 तक आ पहुंचा है। एस.वाई.एल. नहर को लेकर कई अहम घटनाक्रम अतीत में और 2019 में जुलाई महीने में ही हुए हैं। 


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Edited By

Naveen Dalal

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