सड़क पर किसान, मंडियों में पिट रही फसलें : हुड्डा

punjabkesari.in Monday, Oct 26, 2020 - 08:19 AM (IST)

गोहाना (अरोड़ा) : पूर्व मुख्यमंत्री भूपेन्द्र सिंह हुड्डा ने रविवार को कहा कि सड़क पर किसान और अनाज मंडियों में उसकी फसल पिट रही है। यह सरकार न केवल किसान बल्कि कर्मचारी विरोधी भी है। विपक्ष के नेता और पूर्व सी.एम. हुड्डा ने ग्रामीणों को सम्बोधित करते हुए कहा कि कांग्रेस के राज में एम.एस.पी. के बढऩे का इंतजार रहता था,पर आज एम.एस.पी. को ही बचाने के लिए संघर्ष करना पड़ रहा है। उनके अनुसार वह 2 टर्म में 10 साल प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे तो उन्होंने हर फसल का दाम तीन गुना तक बढ़ाया। 

उन्होंने चेताया कि 3 नए कृषि कानून लागू होने के बाद अन्नदाता की हालत और खराब होने वाली है। पहले गेहूं और सरसों को बेचने के लिए अनाज मंडियों के चक्कर कटवाए गए, फिर उनकी पेमैंट के लिए परेशान किया गया। विपक्ष बार-बार मांग करता रहा, पर उसकी अनदेखी कर धान की खरीद को एक महीने देरी से शुरू करवाया गया। पूर्व सी.एम. ने कहा कि धान, कपास, बाजरे और मक्का की खरीद में भी किसानों को कभी गेट पास, कभी ई-पोर्टल और कभी नमी के लिए तंग किया जा रहा है। सरकारी कारगुजारियों से परेशान किसानों को खून-पसीने से सींची फसल औने-पौने दामों पर बेचनी पड़ रही है।

विपक्ष के नेता ने कहा कि कर्मचारियों को सैलरी वक्त पर नहीं मिल रही है, ऊपर से उनके विभिन्न भत्तों में कटौती की जा रही है। सरकारी नौकरियों को खत्म करने के लिए महकमों का निजीकरण किया जा रहा है। उन्होंने रोष व्यक्त किया कि केवल कच्चे ही नहीं बल्कि पक्के कर्मचारियों की सेवाएं भी समाप्त की जा रही हैं। पक्के पी.टी.आई. और ग्रुप डी के कर्मचारियों के मुंह का निवाला छीन लिया गया। कोरोना काल में भी सैंकड़ों सफाई कर्मचारियों की छुट्टी कर दी गई थी।


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Manisha rana

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