पी.जी.आई  लाए गए बस चालक व मासूम की मौत

punjabkesari.in Tuesday, May 01, 2018 - 11:55 AM (IST)

रोहतक:  दादरी के नजदीक सोमवार दोपहर बाद हुए भीषण सड़क हादसे में घायल हुए स्कूली बच्चे-बच्चियों को दादरी में स्वास्थ्य सुविधाएं मयस्सर नहीं होने पर पी.जी.आई.एम.एस. रोहतक रैफर कर दिया गया। एम्बुलैंस समेत प्राइवेट वाहनों में यहां पर करीब 15 बच्चे-बच्चियों को लाया गया।

इनके अलावा स्कूल बस का चालक भी यहां पर इलाज के लिए लाया गया। मगर उपचार के दौरान उसकी मौत हो गई। उसके अलावा गंभीर रूप से घायल एक अन्य छोटी बच्ची का जीवन भी नहीं बचाया जा सका। इससे पूर्व कांग्रेस नेता एवं पूर्व मंत्री सतपाल सांगवान इस सड़क हादसे के बारे में सूचना मिलते ही दादरी अस्पताल पहुंचे लेकिन वहां पर चिकित्सकों एवं सेवाओं की कमी को देखते हुए उन्होंने स्टाफ से बातचीत कर बच्चों को बेहतर इलाज के लिए रोहतक रैफर करने को कहा तथा वाहन मंगवाकर घायल बच्चों को पी.जी.आई. स्थित ट्रामा सैंटर भिजवाने की व्यवस्था की।

बच्चों के साथ सतपाल सांगवान खुद भी पी.जी.आई. पहुंचे और यहां पर चिकित्सकों के साथ बातचीत कर बच्चों को बेहतर इलाज के लिए भी कहा। इसी दौरान सांगवान ने सी.टी.एम. महेंद्रपाल तथा ट्रामा सैंटर इंचार्ज से भी बातचीत की। पी.जी.आई. में बच्चों को उपलब्ध करशाए गए ट्रीटमैंट पर उन्होंने संतुष्टी जताई मगर इससे पहले इसी मामले पर उनकी राज्य के स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज से फोन पर भी खूब बहस हुई और सांगवान ने उनको जमकर खरी-खोटी सुना डाली।

बाद में पी.जी.आई. के बाहर सांगवान ने मीडिया से बातचीत में भी इस बात पर दुख जताया कि दादरी में सरकारी उपेक्षा की बदौलत बच्चों को तुरंत प्रभावी मैडीकल सुविधा नहीं मिल पाई। अगर, तुरंत सुविधाएं मिल जातीं तो कुछ बच्चों की जान बचाई जा सकती थी।

सांगवान ने दादरी में सरेआम दौडऩे वाले ओवरलोड डम्पर्स को लेकर भी सरकार की मंशा पर सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि ओवरलोड से लगातार हादसे हो रहे हैं फिर भी सरकार आंख मूंदकर तमाशा देख रही है। उन्होंने घायल एवं मृतक बच्चों के परिवारों को ढांढस भी बंधाया और कहा कि दुख की इस घड़ी में परिवार खुद को बेबस महसूस न करे। वे पीड़ित परिवारों के साथ खड़े हैं और उनकी हर संभव मदद की जाएगी।

इस घटनाक्रम के बीच जब राज्य के सहकारिता मंत्री मनीष ग्रोवर को सांगवान के पी.जी.आई. पहुंचने के खबर मिली तो वे भी आनन-फानन में पी.जी.आई. पहुंचे और चिकित्सकों से घायल बच्चों की हालत के बारे में चर्चा करते हुए उन्हें तुरंत और बेहतर चिकित्सकीय सुविधाएं उपलब्ध करवाने के निर्देश दिए।

इसी बीच कुछ सीनियर डॉक्टर भी ट्रामा सैंटर पर पहुंचे और बच्चों को देखा। हालांकि, यह सीनियर चिकित्सक काफी देर से ट्रामा सैंटर पहुंचे और इससे पहले ही एक गंभीर घायल बच्ची अपने प्राण गंवा चुकी थी। इसी बीच रोहतक डी.सी. यश गर्ग भी बच्चों का हालचाल जानने को पी.जी.आई. पहुंचे और चिकित्सकों से बातचीत की।

 


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Rakhi Yadav

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